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आपके बच्चे की आयु बढ़ने के साथ ही उसके शरीर के अंग भी बढ़ते हैं जिसके साथ-साथ बच्चे के दाँत भी निकलना शुरू हो जाते हैं और वह अपने छोटे-छोटे दाँतों से ठोस खाद्य पदार्थ चबाने में भी सक्षम हो जाते हैं। यह आपके बच्चे को स्वास्थ्यवर्धक व पौष्टिक आहार देने का सबसे सही समय है। परंतु हो सकता है शुरुआत में ठोस खाद्य पदार्थ आपके बच्चे के लिए असुविधाजनक हो और उसे यह भोजन बेस्वाद लगे। इसलिए शुरुआत में आपको अपने बच्चे के लिए ठोस आहार बनाते समय उसकी सुविधा और स्वाद का पूरा ध्यान भी रखना होगा।
आपके बच्चे की सुविधा और स्वाद को बनाए रखने के लिए ‘कद्दू’ एक बेहतरीन विकल्प है। कद्दू पकने के बाद इतना मुलायम हो जाता है कि बच्चे को अपने छोटे-छोटे नए दाँतों से उसे चबाने में कोई भी असुविधा नहीं होगी और साथ ही यह खाद्य पदार्थ पोषण तत्वों से परिपूर्ण है। कद्दू पोषण तत्वों और बीटा कैरोटीन से परिपूर्ण होने के साथ-साथ स्वादिष्ट आहार भी जो आपके बच्चे को बेहद पसंद आएगा। आप अपने बच्चे को कद्दू के अनेक लाभ विभिन्न व्यंजनों के रूप में कैसे प्रदान कर सकती हैं यह जानने के लिए इस लेख को पूरा पढ़ें।
जी हाँ, आपके बच्चे के लिए कद्दू बिलकुल सुरक्षित है और आप बिना दूसरा सवाल सोचे अपने बच्चे को यह खिला सकती हैं। कद्दू में अनेक पोषक तत्व और एंटी-माइक्रोबियल गुण मौजूद हैं जो आपके बच्चे की इम्यून सिस्टम को मजबूत रखते हैं और उसकी आंतों में मौजूद हानिकारक कीटाणुओं को खत्म करने में मदद करते हैं। इस प्रकार के गुण कद्दू को आपके बच्चे के आहार के लिए एक महत्वपूर्ण खाद्य पदार्थ बनाते हैं।
बच्चे के दूध के दाँत निकलने के साथ ही आप उसे कद्दू खिलाना शुरू कर सकती हैं। बच्चों के दूध के दाँत निकलने की प्रक्रिया लगभग 3 से 12 महीनों की आयु के बीच हो जाती है। परंतु 6 माह की आयु तक उसके दाँत इतने मजबूत होते हैं कि वह कम ठोस आहार खाने में सक्षम होता है। यदि आप अपने बच्चे को 6 माह की आयु से पहले ही ठोस आहार देना शुरू करती हैं तो वह उसे थूक देगा और उस प्रकार से नहीं खा पाएगा जिस प्रकार से आप किसी भी आहार का सेवन करती हैं। इसलिए आप अपने बच्चे को 6 माह की आयु के बाद ही कद्दू या अन्य ठोस खाद्य पदार्थ खिलाने का प्रयास करें।
‘कद्दू’ – नाम पे न जाएं, इस खाद्य पदार्थ में विभिन्न प्रकार के महत्वपूर्ण गुण मौजूद हैं जो आपके बच्चे को आंतरिक शक्ति प्रदान करने में मदद करते हैं। प्रकृति ने इस खाद्य पदार्थ को अनेक तत्वों से भरपूर बनाया है जो आपके और आपके बच्चे के स्वास्थ्य लाभ के लिए गुणकारी सिद्ध होते हैं, आइए जानते हैं कद्दू के गुणों के बारे में;
कद्दू उच्च मात्रा में कैल्शियम और मैग्नीशियम से भरपूर होने के कारण आपके बच्चे की हड्डियों को मजबूत बनाने में मदद करता है। कद्दू में मौजूद फॉस्फोरस मानसिक क्षमता को बढ़ाता है, हार्मोन के स्तर को संतुलित रखता है और पाचन में सुधार करता है। इस खाद्य पदार्थ के यह गुण आपके बच्चे के विकास के लिए महत्वपूर्ण हैं।
आँखों के स्वास्थ्य के लिए विटामिन ‘ए’ अत्यधिक आवश्यक होता है और यह पोषक तत्व भी कद्दू में पाया जाता है। यह आपके बच्चे के देखने की क्षमता को बढ़ावा देता है और इसमें मौजूद कैरोटिनॉइड आँखों में होने वाले अनेक रोगों के खतरे को कम करता है। साथ ही कैरोटिनॉइड, मैक्युलर डिजनरेशन (वसायुक्त पदर्थों के कारण बच्चों और बड़ों की दृष्टी में धुंधलापन) नामक समस्या को कम करके आँखों की रोशनी में सुधार करता है। कद्दू में मौजूद कैरोटिनॉइड ही इसके नारंगी होने के लिए जिम्मेदार है।
कद्दू में मौजूद फाइबर बच्चे के पाचन में अधिक सहायता करता ह। साथ ही यह आहार आपके बच्चे में कब्ज जैसी समस्याओं को दूर करके मल को ठीक तरह से नियंत्रित करता है।
कद्दू में मौजूद उच्च मात्रा में बीटा कैरोटीन एक एंटी-ऑक्सीडेंट है और यह कई अंगों पर ऑक्सीडेटिव तनाव को कम करता है। ऑक्सीडेटिव तनाव आपके शरीर में मुक्त कणों के उत्पादन में असंतुलन के कारण होता है। समय के साथ यह समस्या डाइबिटीज और कैंसर जैसी बड़ी समस्याओं के लिए जिम्मेदार है। कद्दू बच्चों के साथ-साथ वयस्कों में भी अनेक समस्याओं को रोकने में सक्षम है और शारीरक लाभ के लिए बीटा-कैरोटीन, विटामिन ‘ए’ में बदल सकता है।
कैरोटिनॉइड शरीर में मौजूद आयुवृद्धि को बढ़ावा देने वाले मुक्त कणों को खत्म करने में मदद करता है। यह आपके बच्चे की त्वचा को साफ रखने के साथ-साथ इसमें होने वाले रोगों को भी रोकता है जिस कारण से त्वचा में चमक बनी रहती है।
कद्दू में मौजूद पोटैशियम की उच्च मात्रा बच्चे की शारीरिक ऊर्जा को बढ़ाने में मदद करती है। बच्चे में पोटैशियम की कमी को पूर्ण करने के लिए उसे लगभग एक कप कद्दू खिलाएं। यह ऊर्जा बढ़ाने के साथ-साथ आपके बच्चे के रक्त में इलेक्ट्रोलाइट्स के संतुलन और मांसपेशियों की कार्यक्षमता में सुधार करता है।
कद्दू में उच्च मात्रा में विटामिन ‘सी’ और बायो-केमिकल होता है जो आपके बच्चे को सर्दी और फ्लू से बचाता है। इसमें मौजूद एंटी-माइक्रोबियल गुण बच्चे की रोग प्रतिरोधक शक्ति (इम्युनिटी) में सुधार करता है।
कद्दू में मौजूद ट्रिप्टोफैन नामक पदार्थ हमारे शरीर में सेरोटोनिन का उत्पादन करने में मदद करता है। सेरोटोनिन एक अमिनो एसिड है जो शारीरिक शांति प्रदान करता है और नींद को अधिक बेहतर बनाता है।
बच्चों की इम्युनिटी पूरी तरह से विकसित न होने के कारण, वे न केवल वायरस बल्कि अन्य बैक्टीरिया और माइक्रोब्स से संक्रमित हो सकते हैं। कद्दू में ऐसे कीटनाशक गुण मौजूद हैं जो अनेक प्रकार के बैक्टीरिया को नष्ट करने और आपके बच्चे को संक्रमण-रहित करने में सक्षम है।
प्रकृति द्वारा दिए गए विभिन्न खाद्य पदार्थों में अनेक प्रकार के पोषण तत्त्व छिपे होते हैं जो हमारे व हमारे बच्चों के स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मदद करते हैं। उन सभी खाद्य पदार्थों में से एक महत्वपूर्ण व पौष्टिक खाद्य पदार्थ ‘कद्दू’ है और इस पौष्टिक खाद्य पदार्थ में कितना पोषण छिपा हुआ है यह जानने के लिए नीचे दी गई तालिका पर एक नजर डालें।
पोषण सामग्री | पोषण मान प्रति 100 ग्राम |
ऊर्जा | 26 किलोकैलोरी |
पानी | 91 ग्राम |
चीनी | 2.8 ग्राम |
कार्बोहाइड्रेट | 6.5 ग्राम |
प्रोटीन | 1 ग्राम |
लिपिड फैट | 0.1 ग्राम |
फाइबर | 0.5 ग्राम |
लौह तत्व | 0.0008 ग्राम |
कैल्शियम | 0.021 ग्राम |
मैगनीशियम | 0.012 ग्राम |
पोटैशियम | 0.34 ग्राम |
फास्फोरस | 0.044 ग्राम |
विटामिन ‘सी’ | 0.001 ग्राम |
विटामिन ‘बी6’ | 0.06 मिग्रा |
विटामिन ‘ए’ | 0.002553 ग्राम |
विटामिन ‘ई’ | 0.0011 ग्राम |
विटामिन ‘के’ | 1 माइक्रोग्राम |
फोलेट | 16 माइक्रोग्राम |
जिंक | 0.0003 ग्राम |
सोडियम | 0.001 ग्राम |
थायमिन | 0.05 मिग्रा |
नियासिन | 0.0006 ग्राम |
राइबोफ्लेविन | 0.1 मिग्रा |
कद्दू की विशेषता है कि उसे किसी भी स्वाद के साथ बनाया जाए स्वादिष्ट ही लगता है। बस लोग इसे अलग-अलग तरीकों से बनाना पसंद करते हैं। आप कद्दू उबालकर, इसका छौका लगाकर, पीसकर, बेक करके, सेंक कर और अन्य तरीकों से बना सकती हैं। किंतु विशेषकर 6 माह के बच्चे के लिए खयाल रखें कि कद्दू पूरी तरह से पका हुआ, मुलायम व कम मसालेदार होना आवश्यक है।
कद्दू को धो कर काटें और बीज निकालकर एक तरफ ओलिव ऑयल या फिर जो भी तेल आप खाते हैं वो लगाएं। छिलके की तरफ से कटे हुए कद्दू को बेकिंग ट्रे में रखें और 385 ℉ पर लगभग 45 मिनट या जब तक वह पक न जाए तब तक पकाएं। कद्दू पक जाने के बाद उसे माइक्रोवेव से निकालकर एक कटोरे में उसका गूदा (पल्प) निकालें और बटर डालकर अच्छी तरह से मिला लें, यह आपके बच्चे के लिए स्वादिष्ट व्यंजन का एक अच्छा विकल्प है।
सबसे पहले कद्दू को छीलकर टुकड़ों में काट लें और फिर एक पैन में पानी उबालकर, कटे हुए कद्दू को डालें व उसे मुलायम होने तक पकने दें। उबल जाने के बाद पैन से पानी निकाल दें और उबले हुए कद्दू को ठंडा होने तक एक तरफ रख दें। अब आप उबले हुए कद्दू को तुरंत किसी भी पकवान में उपयोग कर सकती हैं या इसे फ्रीजर में रख सकती हैं। उबले हुए कद्दू को ऐसे ही न छोड़ें क्योंकि रखे हुए उबले कद्दू का रंग हल्का भूरा हो जाता है जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक होता है।
आप अपने बच्चे को कद्दू की प्यूरी बनाकर, सादा कद्दू, ओट्स के साथ या फिर दही के साथ खिला सकती हैं।
कद्दू को पकाकर खाने के अनेक तरीके हैं, जैसे कई घरों में इसे खट्टे-मीठे स्वाद के साथ बनाया जाता है तो कई घरों में सिर्फ नमकीन स्वाद ही पसंद करते हैं। अक्सर माएँ अपने बच्चों के लिए इसका हलवा, बर्फी, पूड़ी, पैनकेक बनाने के साथ और अन्य स्वादिष्ट व विभिन्न व्यंजनों के रूप में बनाती हैं। यदि आप अपने बच्चे के ठोस आहार की शुरुआत कद्दू के स्वाद से करना चाहती हैं तो विशेषकर बच्चों के लिए बनाए हुए निम्नलिखित व्यंजनों की विधि जानें।
सबसे पहले एक पैन में कद्दू को नर्म होने तक उबाल लें और फिर उसका पानी निकालकर ब्लेंडर में ब्लेंड करें। कद्दू के पेस्ट का गाढ़ापन खत्म करने के लिए उसमें थोड़ा सा पानी या माँ का दूध मिलाकर इसकी प्यूरी बना लें।
बच्चे के लिए सेब और कद्दू की प्यूरी बनाने के लिए सबसे पहले लगभग 3 सेब और कद्दू लें। सभी सेब और कद्दू को अच्छी तरह से धोकर छील लें और बीज निकालकर छोटे-छोटे टुकड़ों में काट लें। अब कद्दू व सेब के टुकड़ों को एक पैन में पानी डालकर नर्म होने तक उबालें और हल्का ठंडा होने के लिए एक तरफ रख दें। ठंडा हो जाने के बाद उबले हुए कद्दू और सेब को मसल लें और स्वाद के लिए हल्की सी दालचीनी भी मिला लें।
कद्दू का सूप आपके बच्चे के आहार में एक स्वादिष्ट और स्वास्थ्यवर्धक विकल्प है।
बच्चों के लिए फलों में नाशपाती भी एक स्वास्थ्यकर विकल्प है। अपने बच्चे के लिए नाशपाती और कद्दू की प्यूरी बना सकती हैं। इसे बनाने के लिए सबसे पहले नाशपाती को छीलकर बीज निकाल लें। फिर इसी प्रकार से पीले कद्दू को भी काटकर छील लें और उसके बीज निकाल लें। ऊपर दी हुई विधि अनुसार कद्दू की प्यूरी बनाएं और नाशपाती को पीसकर कद्दू की प्यूरी में मिला दें। आप अपने बच्चे को कद्दू और नाशपाती की प्यूरी खिलाएं।
कद्दू, केले और आड़ू की प्यूरी बनाने के लिए सबसे पहले आप आड़ू को छीलकर उसके बीज निकाल लें। फिर ऊपर दी हुई विधि अनुसार कद्दू की प्यूरी बना लें और एक तरफ आड़ू को काटकर नर्म होने तक उबालें और ब्लेंड कर लें। सभी सामग्रियां तैयार करने के बाद अब केले को छीलकर मैश करें और उसमें कद्दू की प्यूरी व ब्लेंड किए हुए आड़ू को भी मिला लें। अंत में इस मिश्रण को एक बार और अच्छी तरह से मिलाएं और अपने बच्चे को खाने के लिए दें।
आप अपने बच्चे को ब्राउन राइस से बनाया हुआ व्यंजन तब भी खिला सकती हैं जब वह हर प्रकार के खाद्य पदर्थ को पचाने में सक्षम हो। ब्राउन राइस को पचाना थोड़ा मुश्किल होता है इसलिए यह व्यंजन बनाने के लिए सिर्फ आधा चम्मच ब्राउन राइस का उपयोग करें। आधे घंटे के लिए ब्राउन राइस को साफ पानी में भिगो दें। अब लगभग 120 ग्राम कद्दू को छीलकर काटें और बीज निकालकर स्टीम कर लें। इतना होने के बाद स्टीम किए हुए कद्दू में भिगोए हुए चावल डालें और दो मिनट तक तेज आंच में उबाल लें और फिर लगभग 5 मिनट के लिए कम आंच में पकाएं, उसमें बचे पानी को अलग छान कर ठंडा होने दें।
अपने बच्चे को यह व्यंजन आप विशेषकर तब खिला सकती हैं जब उसका पाचन तंत्र पूरी तरह से विकसित हो गया हो और वह हर प्रकार के खाद्य पदार्थ को पचाने में सक्षम हो। यह एक स्वादिष्ट और आपके बच्चे के लिए एक अलग स्वाद होगा, इसे पकाने के लिए आपको निम्नलिखित सामग्रियों की आवश्यकता होगी;
एयर टाइट कंटेनर में स्टोर किया हुआ कद्दू जब तक शुद्ध है तब तक वह आपके बच्चे के लिए सुरक्षित है। बाजार में मिलने वाले कुछ डिब्बों में कद्दू की पाई का मिश्रण आता है जिसमें स्टार्च, शर्करा और अन्य एडिटिव्स मिलाए गए होते हैं। बाजार में मिलने वाली कद्दू की ऐसी पाई आपके बच्चे के लिए अस्वास्थ्यकर हो सकती है। इसलिए ज्यादतर डॉक्टर सलाह देते हैं कि आप अपने बच्चे को एयरटाइट कंटेनर में स्टोर किया हुआ भोजन बिलकुल भी न दें। अपने बच्चे के लिए बाजार से कद्दू की प्यूरी खरीदने से पहले उसके डिब्बे में लगे लेबल को अच्छी तरह से पढ़ लें।
कद्दू को सुरक्षित रखने के लिए उनमें कीटनाशक डालने की आवश्यकता नहीं होती है इसलिए आमतौर पर सभी प्रकार के कद्दू सुरक्षित होते हैं। यदि फिर भी आप अपने भ्रम को दूर करने के लिए आर्गेनिक कद्दू खरीदना चाहती हैं तो भी यह अच्छी बात है।
बच्चे के लिए छोटे और कम पके हुए कद्दू का चयन करें, ऐसे कद्दू को मीठा, कुकिंग व पाई कद्दू के नाम से भी जाना जाता है। बड़े कद्दू की तुलना में इसमें कम फाइबर होता है और साथ ही इसका गूदा थोड़ा कड़क व मीठा भी होता है। इस प्रकार के कद्दू सूप और बेक किए हुए व्यंजनों के स्वाद को अधिक स्वादिष्ट बनाने में सक्षम होते हैं। इसके अलावा कद्दू खरीदने से पहले सुनिश्चित करें कि यह अपने आकार से अधिक भारी होना चाहिए जिससे यह पता लगता है कि इस कद्दू में पानी की मात्रा अधिक है।
यदि आप छिला और कटा हुआ पैकेट में बंद कद्दू खरीद रही हैं तो सुनिश्चित करें कि उसका रंग गहरा नारंगी व ताजा दिख रहा है। पैकेट वाले कद्दू को खरीदते समय खयाल रखें कि उसमें कोई चीरा न लगा हो और व बहुत ज्यादा गला हुआ न हो। कद्दू वही खरीदें जिसका रंग चमकीला और सतह थोड़ी सी कड़क हो।
कद्दू को पकाने से पहले इसे छील लें और गंदगी हटाने के लिए ब्रश से साफ करके ठंडे पानी में अच्छी तरह से धो लें। कद्दू को धोने के बाद इसे आधा काटकर छोटे चम्मच से सभी बीज निकाल लें।
यदि आप पैकेट वाले कद्दू का उपयोग करना पसंद करती हैं तो सबसे पहले उसे ठंडे पानी से धोएं। इसके बाद ही आप व्यंजन पकाने के लिए कद्दू का उपयोग कर सकती हैं।
कद्दू को हमेशा काटकर ही पकाएं किन्तु इसे अत्यधिक देर तक पकने के लिए न रखें। इस खाद्य पदार्थ को ज्यादा देर तक पकाने से उसके सभी पोषण तत्व नष्ट हो जाते हैं। अपने बच्चे के आहार में इस खाद्य पदार्थ को शामिल करने के लिए आप ऊपर दिए हुए किसी भी तरीके का उपयोग कर सकती हैं
हो सकता है बच्चे को आपके हाथ का स्वाद पसंद आए किंतु फिर भी उसे अन्य खाद्य पदार्थ खिलाने से पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें। इसके अलावा बच्चे के लिए ठोस आहार शुरू करते समय खाद्य पदार्थ की प्रतिक्रिया को समझने का प्रयास करें। यदि किसी भी प्रकार का खाद्य पदार्थ आपके बच्चे में एलर्जी के लक्षण उत्पन्न करता है या इससे कोई भी दुष्प्रभाव होता है तो आप अपने बच्चे को वह खाद्य पदार्थ बिलकुल भी न खिलाएं। यदि आपका बच्चा अक्सर अस्वस्थ रहता है या वह किसी दवा का सेवन करता है तो उसके आहार में कोई भी नया खाद्य पदार्थ शामिल न करें।
कद्दू के अनेक गुण हैं और इस खाद्य पदार्थ की प्रकृति है कि यह किसी भी फल, सब्जी या यहाँ तक कि मांसाहारी आहार के साथ भी मिल जाता है। आप अपने बच्चे को सभी प्रकार के पोषक तत्व प्रदान करने के लिए उसे कद्दू को चावल, दाल, नाशपाती, ब्रोकोली और कई अन्य खाद्य पदार्थों के साथ मिलाकर खिलाने का प्रयास कर सकती हैं।
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