लोहड़ी 2023: बच्चों के लिए लोहड़ी पर निबंध

लोहड़ी 2023: बच्चों के लिए लोहड़ी पर निबंध

एक भारतीय के रूप में, हम भाग्यशाली हैं कि हमने विविध संस्कृतियों वाली भूमि पर जन्म लिया। भारत जैसे देश में रहने का हमे यह फायदा हुआ कि हम सालों भर विभिन्न राज्यों के विभिन्न त्यौहारों को बिना किसी भेद भाव के मनाते हैं और इन त्यौहारों का महत्व समझते हैं। लोहड़ी भी इन्हीं त्यौहारों का एक अहम हिस्सा है, जिसे हर साल जनवरी को खासतौर पर भारतीय राज्य पंजाब में मनाया जाता है, लेकिन जैसा की आपको बताया कोई भी त्यौहार किसी राज्य विशेष तक सीमित नहीं है अब हर जगह हर त्यौहार मनाया जाता है और यह एक प्रकार भारतीय निवासियों का एक दूसरे के प्रति प्यार और सम्मान जताने का एक तरीका है। जब हम पंजाब राज्य की बात करते हैं तो हमारी कल्पना में हरियाली, किसान की खेती, फसल और रंग-बिरंगी खुशनुमा महौल की तस्वीर सामने आ जाती है। तो जरा सोचिए जो राज्य ऐसा हो उस राज्य के त्यौहार कितने खूबसूरत होंगे! जहां आपको जश्न, खुशियां, नृत्य और संगीत का प्रर्दशन देखने को मिलता है।  

हमारे भारत की विविध संस्कृतियों को अब हमे हमारे बच्चों तक पहुंचाना है जिसमें स्कूल के साथ माता-पिता का कर्तव्य है की बच्चों को शिक्षित करें और इनकी इस विषय में रूचि बढ़ाएं। तो आइए जानते हैं कि किस प्रकार से आपका लोहड़ी पर निबंध लिख सकता है या अगर वो इस विषय में आपसे मदद मांगे तो आप किस प्रकार से बच्चे सही तरह से निबंध लिखने में सहायता करें।  

लोहड़ी पर निबंध लिखने से पहले ध्यान देने वाली कुछ जरूरी बातें

निबंध लिखना कोई बहुत मुश्किल काम नहीं है बस आपको कुछ चीजों पर ध्यान देना होगा और आप जो लिखे वो जानकारी सही होनी चाहिए। यहां आपको वो बातें बताई गई हैं जिसे ध्यान में रखते हुए अगर आपका बच्चा पैराग्राफ या एस्से लिखता है तो उसके टीचर या अन्य लोग उसकी तारीफ करने से खुद को नहीं रोक पाएंगे।  

  • सबसे पहले आपको तय करना होगा की आपको कितने शब्दों का निबंध लिखना है 
  • वर्ड लिमिट के आधार पर एक बेहतरीन सा संक्षेप में वाक्य लिखे जो निबंध की शुरूआत करते हुए लोहड़ी त्यौहार का परिचय होगा। 
  • अपने निबंध को चार से पांच पैराग्राफ में कर के लिखें ताकि पढ़ने वाले को इसे पढ़ने में आसानी हो। 
  • अपने लेखन में त्यौहार से जुड़ी दिलचस्प बातों का उल्लेख करें, ताकि आपके निबंध को अंत तक पढ़ने की रूचि बनी रहे। 
  • आखिर में एक अच्छे क्लोजिंग पैराग्राफ के साथ निबंध को समाप्त करें।   

लोहड़ी पर बच्चों के लिखने के लिए 10 लाइन 

  1. लोहड़ी हर साल 13 जनवरी को मनाया जाता है।
  2. इस त्यौहार को हिंदू और सिख समुदाय के लोग मनाते हैं।
  3. लोहड़ी को नया साल भी माना जाता है।
  4. यह पंजाब में फसलों की कटाई का समय भी होता है।
  5. अलाव तैयार करने के लिए गाय के गोबर का इस्तेमाल करते हैं।
  6. अलाव के चारों ओर बैठ कर लोग खुशी से नाचते गाते हैं।
  7. परिवार की सुख समृद्धि के लिए लोग सूर्य देव की पूजा करते हैं।
  8. सिंधी समुदाय में लोहड़ी को लाल लोई के नाम से मनाते हैं।
  9. लोहड़ी की रात को साल की सबसे लंबी रात माना जाता है।
  10. इस दिन लोहड़ी विशेष गीत गाया जाता है और किसान उनके अच्छी फसल के लिए  प्रार्थना करते हैं।

बच्चों के लिए लोहड़ी पर छोटा निबंध / शॉर्ट एस्से

पंजाब में लोग सर्दियों के मौसम का अंतिम पड़ाव पर आना और फसलों के मौसम के आगमन का स्वागत करने की खुशी में लोहड़ी का त्यौहार मनाते हैं। यह त्यौहार नई शुरुआत को दर्शाता है। लोहड़ी का त्यौहार को अलाव के साथ मनाया जाता है। परंपरागत रूप से इसकी तैयारी लगभग एक या दो सप्ताह पहले से शुरू हो जाती है जहां किशोर लड़के और लड़कियां अलाव के लिए उपले बनाने के लिए गाय का गोबर और टहनियाँ इकट्ठा करना शुरू कर देते हैं, लोहड़ी वाले दिन लोग नए कपड़े पहनते हैं और अलाव जलाने के लिए उसके चारों ओर इकट्ठा होते हैं। लोग अलाव के सामने प्रार्थना करते हैं और उसमें तिल, मूंगफली और चूरा डालते हैं क्योंकि इन सभी खाद्य पदार्थों को लोहड़ी का प्रसाद माना जाता है। इस दिन पुरुष और महिलाएं खूब नाचते गाते हैं जिसमें पारंपरिक गीत और भांगड़ा और गिद्दा कर के लोग अपनी खुशी जाहिर करते हैं। लोग एक-दूसरे को लोहड़ी की शुभकामनाएं देते हैं ।

इसके आलावा लोहड़ी के दिन, स्वादिष्ट भोजन पकाया जाता है जिसमें मुख्य रूप लोहड़ी विशेष भोजन ‘सरसों का साग’ और ‘मक्की की रोटी’ और खीर, आटे के लड्डू के साथ-साथ कई अन्य व्यंजन बनाए और खिलाए जाते हैं।

यह त्यौहार उन लोगों के लिए बहुत अहमियत रखता है जो नवविवाहित हों या घर परिवार में जिस बच्चे की यह पहली लोहड़ी होती है। इस दिन लोग अपने परिवार और करीबियों को दावत के लिए आमंत्रित करते हैं और एक दूसरे को उपहार देते हैं। लोहड़ी पर, लोग सूखे मेवे रेवड़ी – चीनी, तिल और भुनी हुई मूंगफली से बनी मिठाई का भोग लगाते हैं। तिल के लड्डू और अन्य खाद्य पदार्थों को सब बारी-बारी आग में डालने के बाद एक साथ इकट्ठा होते हैं और त्यौहार का जश्न मनाते हैं।

लोहड़ी का त्यौहार पंजाब के ग्रामीण इलाकों तक ही सीमित नहीं है, बल्कि शहरों, यहां तक की बहुत सारे राज्यों में भी यह मनाया जाने लगा है। और शहरवासी भी पूरी परंपरा के साथ त्यौहार को मनाते हैं।  यह त्यौहार ही तो हैं जो हमे समय समय पर अपनों के होने की अहमियत बताते हैं। 

भारत को एक महान देश इसलिए भी माना जाता है क्योंकि यह अनेकता में भी एकता का प्रतीक है। इसलिए यह हमारे लिए गर्व की बात है कि हम उस देश के नागरिक हैं विविध संस्कृतियों का धनी है। 

बच्चों के लिए लोहड़ी पर बड़ा निबंध / लॉन्ग एस्से 

अगर आपको बच्चे को लोहड़ी के लिए बड़ा पैराग्राफ लिखवाना है तो आप छोटे निबंध के साथ साथ नीचे दिए गए पॉइंट्स भी जोड़ सकते हैं जिसमें आप लोहड़ी के बारे में विस्तार से बता सकते हैं।  

लोहड़ी का महत्व 

लोहड़ी प्रमुख रूप से सिख और पंजाबियों का त्यौहार है जो सर्दियों के मौसम के खत्म होने फसलों की कटाई की खुशी के रूप में मनाया जाता है। इस दिन किसान रबी की फसलों की कटाई कर के अपने घरों को लाते हैं, जिसकी खुशी किसानों के बीच देखी जाती है। यह त्यौहार मकर संक्रांति के एक दिन पूर्व बहुत धूमधाम मनाया जाता है। हर त्यौहार के पीछे कोई न कोई धार्मिक कथाएं होती है ठीक वैसे ही लोहड़ी को लेकर अनेक कथाएं हैं जिनमें से कृष्ण भगवान और लोहिता राक्षसी की कथा और संत कबीर और उनकी पत्नी लोई की कथा काफी मशहूर है। लोहड़ी की रात को अग्नि की परिक्रमा करते हुए लोग आग में खील, मक्के के दाने, रेवड़ी डालते और खूब नाचते गाते हैं। इसके बाद सभी लोगों के प्रसाद बांटा जाता है जिसमें खील, मक्के के दाने, रेवड़ी, गज्जक, गुड़ आदि दिया जाता है। यह त्यौहार नवजात बच्चे और नई दुल्हन के लिए बहुत खास माना जाता है क्योंकि यह त्यौहार नई शुरूआत का खास प्रतीक है।  

यूं तो बदलते दौर में लोग धर्म-जात और राज्य से ऊपर उठकर सभी त्यौहार को उसी प्यार और सम्मान के साथ मनाते हैं, लेकिन कुछ राज्यों में विशेष रूप से यह रौनक ज्यादा देखने को मिलती है। इसी प्रकार लोहड़ी के त्यौहार का जश्न आपको अन्य राज्यों के मुकाबले उत्तर राज्य के बहुत सारे राज्यों में अधिक देखने को मिलता है जैसे हरियाणा, पंजाब और दिल्ली आदि। आइए जानते हैं किन किन राज्यों में कैसे मनाई जाती है लोहड़ी।  

पंजाब 

पंजाब में लोहड़ी पंजाबी किसानों के लिए नए साल का प्रतीक है। इस दिन सभी किसान प्रार्थना करते हैं और प्रभु का शुक्रिया करते हैं उस फसल के लिए जिसके वो कटाई करने जा रहे हैं। इसके लिए वे अग्नि देवता की पूजा करते हैं और उनसे अपनी भूमि के लिए आर्शीवाद मांगते हैं और अच्छी फसल की कामना करते हैं। 

हिमाचल प्रदेश 

हिमाचल प्रदेश में यह त्यौहार फसलों उपजाऊ होने की खुशी में मनाया जाता है, जिसमें अलग-अलग समुदाय और गांव के लोग एक साथ मिलकर त्यौहार का जश्न मनाते हैं। लोग इस दिन अपनी पारंपरिक पोशाक पहनते हैं। आग जलाई जाती है जिसमें लावा, चावल और मिठाई डाली जाती है ताकि भगवान उनमें अच्छी फसल दें।  जिसके सामने पुरुष और महिलाएं गाने की धुन पर पैरों को थिरकाते हैं। 

दिल्ली 

लोहड़ी के त्यौहार में बच्चे अपने पड़ोसियों के घर जाते हैं और गाने गाते हैं, जहां बड़े उन्हें पैसे और तोहफे देकर आशीर्वाद देते हैं। शाम को आग के सामने अच्छे अच्छे पकवान खाए जाते हैं।  

हरियाणा 

हरियाणा में लोहड़ी के त्यौहार की शुरूआत लोहड़ी के गाने से की जाती है जिस पर लोग नृत्य करते हैं। इस दिन लोग रंग-बिरंगे कपड़े पहनते हैं और ढोल की ताल पर नाच कर अपनी खुशी जाहिर करते हैं। इस दिन घरों में दीये जलाए जाते हैं। यह त्यौहार किसानों के लिए बहुत महत्व रखता है।  

त्यौहार घरों में खुशियां लेकर आते हैं और हर त्यौहार हमें प्यार और अच्छे कर्मों के साथ जीवन जीने का महत्व बताता है। इन त्यौहारों के माध्यम से हमें हर साल यह मौका मिलता है कि हम सब मिलकर एक बेहतर समाज का निर्माण करें और उसके लिए सबसे पहले अपने अंदर की बुराई को दूर करने का प्रयास करें।