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बच्चे मजाक-मस्ती नहीं कर सकते पर वे अपनी प्यारी सी मुस्कुराहट से आपका दिल जीत सकते हैं। एक बच्चे की मुस्कराहट व खिलखिलाहट से ज्यादा बेहतर कुछ भी नहीं है। बच्चे की पहली स्माइल आपको एक अलग ही खुशी का एहसास दिलाती है और इसके बाद से आप उसकी कोई भी स्माइल मिस नहीं करना चाहेंगे। जन्म के बाद से आपको ऐसे कई सारे ऐसे अवसर मिलेंगे जब आपका बच्चा अपनी मुस्कराहट से ही खुशी व उत्साह व्यक्त करेगा। यदि आप चाहते हैं कि आपके बच्चे की खुशियों में आप सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण भूमिका निभाएं तो आपके बच्चे को क्या चीजें खुश कर सकती हैं और उनके चेहरे पर किस प्रकार से हँसी आ सकती है, जानने के लिए यह लेख पढ़ें।
यहाँ पर बच्चों की कुछ क्यूट और प्यारी फोटोज दी हुई हैं जिन्हें देखकर आपको इनसे प्यार हो जाएगा। आप भी चाहेंगे कि आपके बच्चे के फोटोज भी कुछ ऐसे ही हों। वे 30 फोटोज कुछ इस प्रकार हैं:
जन्म के बाद बच्चा 12 महीनों तक सिर्फ मुस्कुराता है जो धीरे-धीरे बढ़ती जाती है। उसकी पहली मुस्कान एक बड़ी सी हँसी में जिसमें खुशी, संबंध और कम्युनिकेशन भी होता है। बच्चा कब मुस्कुराना शुरू करता और इसमें कितने चरण शामिल हैं, आइए जानें;
बच्चे की सबसे पहली हल्की सी स्माइल उसके सोते समय ही आती है। वह पहले हल्की सी आवाज करता है, फिर उसके चेहरे पर हल्का सा आश्चर्य का एक्सप्रेशन आता है और वो मुस्कुरा देता है। सोते समय शरीर में कुछ फिजियोलॉजिकल बदलाव होने के कारण रिफ्लेक्सेस एक्टिवेट होते हैं। मुस्कराहट भी भावनात्मक होने के बजाय एक फिजिकल रिएक्शन है।
इस चरण में बच्चा कैसे भी मुस्कुरा सकता है, जैसे यदि आप उसे कडल करते हैं या फनी चेहरे बनाते हैं और फनी आवाजें निकालते हैं। यह स्वीकृति या सोशल रिस्पॉन्स नहीं है। यह उसके सेंसरी अनुभवों की एक प्रतिक्रिया है। अब तक आपका बच्चा नहीं जानता है कि लोगों और चीजों में क्या अंतर है। आप कुछ आवाजों या एक्सप्रेशन से बच्चे को मुस्कुराने के लिए प्रेरित कर सकते हैं जिसमें वह रिस्पॉन्स भी दे सकता है। आप बच्चे से बातें करें ताकि वह आपके हाव-भाव समझने व देखने का प्रयास करे। बच्चे को हाव-भाव की नकल करने के लिए प्रेरित करें।
इस दौरान बच्चा आपसे कनेक्ट करना चाहता है और आपको देखकर या आप अजीब-अजीब चेहरे बनाते हैं तो वह मुस्कुराएगा। बच्चा जानेगा कि उसकी मुस्कराहट से वह आपके चेहरे पर भी एक प्यारी सी स्माइल देख सकता है। बच्चा आपकी अटेंशन पाने व खुद को व्यक्त करने के लिए अपने हाथ-पैर हिलाने के साथ-साथ गड़-गड़, घुर-घुर और अजीब सी आवाजें निकालेगा। यद्यपि हो सकता है कि बच्चा तब स्माइल न करे जब आप चाहते हैं पर अगर वह 12 सप्ताह तक मुस्कुराता ही नहीं है तो आप डॉक्टर से सलाह ले सकती हैं।
विकास के हर चरण में बच्चे अलग होते हैं जिसमें कुछ बच्चे अन्य से ज्यादा मुस्कुराते हैं। कम से कम 6 महीने की आयु में आपका अच्छी तरह से मुस्कुराने लगता है। चाहे कुछ भी 6 महीने का बच्चा आपके साथ खूब सारी मुस्कुराहटें शेयर करता है।
इस आयु में आपका बच्चा लोगों को पहचानने लगेगा और उनमें अंतर समझने लगेगा। हो सकता है बच्चा अनजाने लोगों को देखकर न मुस्कुराए और इसकी वजह से आपको दुविधा हो सकती है। पर यह बेहतर विकास का ही एक लक्षण है। यदि बच्चे के सामने कोई चीज स्थिर है और अचानक से हिलकर पिकाबू बोले तो इससे भी बच्चा जोर से खिलखिला देता है।
इस आयु में बच्चे में भाषा और समझ का विकास होता है और उनमें सेन्स ऑफ ह्यूमर भी बढ़ता है। इस उम्र में बच्चे ज्यादातर चीजों को देखकर हँस देते हैं, जैसे फनी आवाजें, फनी चेहरे या गिरने की फनी आवाजें। बच्चों को सरप्राइज बहुत पसंद होता है इसलिए कोशिश करें कि आप बच्चे के लिए गाएं या उसे गोदी में लेकर झूला झुलाएं और इससे भी आपका बच्चा धीमे-धीमे मुस्कुराने लगेगा।
बच्चे की पहली स्माइल और पहले शब्द के बीच उसकी खिलखिलाहट आती है। हँसना बच्चों के लिए एक महत्वपूर्ण माइलस्टोन है जो उसके सामाजिक, भावनात्मक और कॉग्निटिव स्किल्स दर्शाता है। तो आपका बच्चा किस चीज से हँस सकता है? कौन सी चीजें उसे हँसा सकती हैं? बच्चे को हँसाने के तरीके अलग-अलग हो सकते हैं पर यह हँसी बहुत जरूरी है। आप आवाज और स्पर्श से बच्चे को हँसा सकते हैं, जैसे उसके पेट पर रब करना, पॉपिंग साउंड निकालना, किस करना या उसके बालों में फूंक मारना।
हर पेरेंट्स अपने बच्चे की वो फोटोज क्लिक करना चाहते हैं जिसमें उसकी प्यारी सी मुस्कराहट निखर का सामने आए। छोटे बच्चों की फोटोज क्लिक करते समय उनकी मुस्कान लाने के लिए यहाँ कुछ ट्रिक्स बताए गए हैं जिनकी मदद से बच्चे के चेहरे पर एक बेहतरीन एक्सप्रेशन बनता है और इससे उनकी फोटोज भी अच्छी आती हैं, आइए जानें;
बच्चे के पेट पर गुदगुदी करने से भी वे खिलखिलाकर हँसते हैं।
यदि आप अपनी नाक को अपने बच्चे की नाक पर हल्के से रब करती हैं तो बच्चे मुस्कुरा देते हैं।
यह सबसे पुराना तरीका है जो कभी फेल नहीं हुआ। यदि आप बच्चे के सामने अचानक आकर पिकाबू कहेंगे तो इसमें भी वह मुस्कुरा देता है।
यदि आप बच्चे की नाजुक त्वचा पर गुदगुदी करते हुए आवाज करते हैं तो भी वह हँस देगा।
बड़ों के अजीब-अजीब चेहरे बनाने से भी बच्चा खिलखिलाकर हँस पड़ते हैं।
यह समझना मुश्किल है कि अन्य बच्चों या भाई-बहन छोटे बच्चों को कैसे हँसा पाते हैं। यदि आप अपने नन्हे-मुन्ने को हँसाना चाहते हैं तो यह ट्रिक आजमा कर देखें।
तेजी से क्रॉल करते हुए बच्चे को पकड़ने से भी वह बहुत खिलखिलाता है।
आप अपने बच्चे को पीठ पर बैठाएं और बिस्तर पर हल्के-हल्के उछलें। इससे भी बच्चा खिलखिलाकर हँस पड़ेगा।
यदि आप फनी आवाजें निकालते हैं तो इससे भी बच्चे को मुस्कुराने से कोई भी नहीं रोक सकता है।
यदि आप अपने बच्चे को उसकी गर्दन, हाथ या पैरों पर काटने का नाटक भी करते हैं तो भी बच्चा खिलखिला पड़ता है।
यदि घर में पला हुआ कुत्ता या बिल्ली बॉल या खिलौने को पकड़ कर झाझोड़ता है तो यह देखकर भी बच्चा खूब हँसता है।
यदि आप हँसते हैं तो आपको हँसता हुआ देखकर आपका बच्चा भी हँसने लगेगा। यदि आप नहीं मानते हैं तो नीचे दी हुई जानकारी पढ़ें और जानें।
क्या मुस्कुराते हुए बच्चे की फोटोज देखकर आपके चेहरे पर भी स्माइल आ जाती है? कभी-कभी सिर्फ एक प्यारी सी मुस्कराहट और खिलखिलाहट से ही आपके पूरे दिन की थकान कम हो सकती है। तो इसलिए मुस्कुराना और हंसना इतना प्रभावित करता है।
एक हँसते-मुस्कुराते हुए बच्चे को देखते हैं तो हम भी अपने इमोशंस शेयर करते हैं। आमतौर पर बच्चे सकारात्मकता फैलाते हैं जिससे बड़े तुरंत प्रभावित होते हैं। इसलिए एक खुश बच्चे को देखने से आपका मूड अच्छा हो सकता है और आप अच्छा महसूस करते हैं।
यदि हम किसी भी व्यक्ति से मिलते हैं, चाहे वह खुश हो या दुखी तो उसके भाव हमारे चेहरे पर आ जाते हैं और हमारा मूड उसी के अनुसार हो जाता है। इसी प्रकार से जब हम एक खुशमिजाज बच्चे को देखते हैं तो हम भी खुश हो जाते हैं।
हँसने-मुस्कुराने से लोगों के बीच में संबंध बनते हैं। जब भी आप किसी बच्चे को खुद पर मुस्कुराता हुआ देखते हैं तो आप भी एक जुड़ाव के लिए उस प्यारे से बच्चे को देखकर हँस देते हैं।
यद्यपि यह जानने में आपको समय लग सकता है कि आपके बच्चे के चेहरे पर स्माइल किस वजह से आ सकती है पर फिर भी इस पूरे प्रॉसेस का अनुभव लें और बच्चे के साथ एक बेहतर बॉन्ड बनाने का प्रयास करें।
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