बड़े बच्चे (5-8 वर्ष)

समाचार पत्र पर निबंध (Essay On Newspaper In Hindi)

आज के समय में अगर दुनिया के किसी भी कोने में कोई नई घटना, खबर होती है, तो कुछ ही समय में उसकी जानकारी सभी को हो जाती है। यह इंटरनेट और टीवी का जमाना है। लेकिन कुछ साल पहले तक ये सुविधा नहीं थी। तब सबको खबर देने का काम समाचार पत्र के कारण ही मुमकिन था। वर्तमान समय में भी समाचार पत्र के लोगों के जीवन का अहम हिस्सा है। वैसे तो अब दुनिया में खबरों की जानकारी देने के बहुत से संसाधन मौजूद हैं लेकिन लोग आज भी समाचार पत्रों पर ही विश्वस्त रूप से निर्भर रहते हैं, खासकर घर के बड़े और बुजुर्ग लोगों की सुबह इसी के साथ होती है। यह पहली और सबसे जरूरी चीज है जिसे हर कोई सुबह उठते ही देखना पसंद करता है। यह हमें दुनिया भर में होने वाली घटनाओं के बारे में जानकारी पाने में मदद करता है। इस निबंध में बच्चे भी समाचार पत्र की अहमियत को समझेंगे और इसके इतिहास, परिभाषा और महत्व के बारे में पढ़ेंगे।

समाचार पत्र पर 10 लाइन का निबंध (10 Lines On Newspaper In Hindi)

समाचार पत्र एक ऐसा संसाधन है जो दुनिया भर की जानकारी हमें आसानी से हासिल कराता है। यदि आपको इसके बारे में कम शब्दों में निबंध लिखना है तो आप नीचे दी गई अखबार से जुड़ी 10 पंक्तियों की मदद ले सकते हैं। 

  1. दुनिया भर में संचार का सबसे पुराना स्रोत समाचार पत्र है।
  2. समाचार पत्र में वर्तमान में घटी घटनाओं को नियमित आधार पर प्रकाशित किया जाता है।
  3. सालों से लोगों को अखबार पढ़ने की आदत होती है।
  4. समाचार पत्र राजनीति, खेल, फिल्म और राष्ट्रीय मुद्दों जैसे कई विषयों में विभाजित होता है।
  5. समाचार पत्र दैनिक, साप्ताहिक और यहां तक ​​कि मासिक आधार पर छपते हैं।
  6. ये सूचना हासिल करने के सबसे सस्ते और सुविधाजनक तरीकों में से एक है।
  7. समाचार पत्र में कविताएं, पहेलियां और कहानियां बच्चों का पसंदीदा वर्ग होता है।
  8. समाचार पत्र में नौकरी के इश्तिहार भी दिए जाते हैं।
  9. व्यापक भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई में समाचार पत्र अहम भूमिका निभाता है।
  10. समाचार पत्र से लोगों में राष्ट्रीय मुद्दों के बारे में जागरूकता बढ़ती है।

समाचार पत्र पर निबंध 200-300 शब्दों में (Short Essay on Newspaper in Hindi 200-300 Words)

समाचार पत्र की जरूरत को समझना और उसका सही ढंग से उपयोग करना ही व्यक्ति को सही जानकारी प्राप्त करने में मदद करता है। यदि आपको अपने बच्चों को समाचार पत्र के महत्व के बारे में समझाना है तो नीचे दिए कम शब्दों वाले निबंध से आप उसकी सहायता कर सकते हैं। 

आज के समय में समाचार पत्र नई खबरों और घटनाओं के बारे में जानकारी पाने का सबसे आसान माध्यम बन गए हैं। इसकी मदद से लोग वर्तमान में चल रही घटनाओं की जानकारी सरलता से रोज हासिल करते हैं। सुबह सुबह लोग सबसे पहले बाकी कामों को छोड़कर चाय के साथ अखबार पढ़ना पसंद करते हैं ताकि वे अपने शहर, देश और दुनिया की पूरी खबर रख सकें। समाचार पत्र की मदद से लोगों को दुनिया भर के कई क्षेत्रों जैसे खेल, राजनीति, फिल्म जगत, टेक्नोलॉजी आदि के बारे में जानकारी मिलती हैं। वैसे तो रेडियो, टेलीविजन आदि कई संसाधन मौजूद हैं लेकिन समाचार पत्र का लोगों के जीवन में अलग स्थान है। इसके जरिए देश-विदेश में चल रही छोटी और बड़ी सभी घटनाओं की जानकारी हासिल होती है। कई लोकप्रिय हिंदी भाषा के समाचार पत्र मौजूद हैं जो लोगों की पहली पसंद बने हुए हैं जैसे कि दैनिक जागरण, अमर उजाला, हिंदुस्तान टाइम्स, पंजाब केसरी, नवभारत टाइम्स आदि। इनका महत्व हर दिन बढ़ता जा रहा है और इनको पढ़ने वालों की संख्या भी बढ़ रही है क्योंकि बच्चों से लेकर बूढ़े तक सभी इसे पढ़ना पसंद करते हैं, सभी के लिए इसमें कुछ न कुछ जानकारी दी हुई होती है। 

समाचार पत्र पर निबंध 400-600 शब्दों में (Essay on Newspaper in Hindi 400-600 Words)

अगर आप के घर में बड़े और बूढ़े लोगों को समाचार पत्र पढ़ने का शौक है और आप चाहते हैं कि आपका बच्चा भी ये आदत डाले ताकि वह भी देश की वर्तमान स्थिति के बारे जागरूक रहे तो उसे समाचार पत्र पढ़ने की प्रेरणा देने के लिए ये निबंध जरूर पढ़ाएं और उसकी अहमियत समझाएं। यदि उसे इस पर निबंध लिखने के लिए प्रोत्साहित करना चाहते हैं तो आप उसे इस लॉन्ग एस्से का सुझाव दे सकती हैं। 

समाचार पत्र क्या होता है (What Is A Newspaper)

समाचार पत्र एक कागज का स्वरूप होता है जिसमें कम से कम 5-6 पन्ने होते हैं। इसमें दुनिया भर की सभी जानकारी दी जाती है। समाचार पत्र लोगों की आम जिंदगी में एक खास जगह रखता है। आमतौर पर लोगों के दिन की शुरुआत समाचार पत्र के बिना अधूरी होती है। समाचार पत्र हमें देश, दुनिया आदि में क्या चल रहा है उसके बारे में जानकारी देता है। ऐसे व्यस्त समय में जब लोगों के पास अपनी नौकरी और बिजनेस से कुछ अलग हटकर जानने का समय नहीं होता है समाचार पत्र हमें उन जानकारियों, त्योहारों आदि का दिन व तारीख बताता है। समाचार पत्र में हमें खेल, फिल्मी दुनिया, देश, दुनिया, रोज की खबरें आदि के बारे में जानकारी देता है, इसलिए यह हमें हर खबर को जानने के लिए इधर-उधर नहीं भटकना पड़ता है। अखबार पढ़ने से आपको 15 मिनट या आधे घंटे में कई तरह का ज्ञान हासिल हो जाता है। यह सभी क्षेत्रों के लोगों के लिए फायदेमंद है क्योंकि इसमें छात्रों, व्यापारियों, राजनेताओं, खिलाड़ियों, शिक्षकों, उद्योगपतियों आदि सभी के लिए कुछ न कुछ ज्ञान होता है।

समाचार पत्र का इतिहास (History Of Newspaper)

भारत में अंग्रेजों के आने के पहले तक अखबार का कोई नामो-निशान नहीं था। भारत में समाचार पत्र का विकास अंग्रेजों द्वारा ही किया गया था। साल 1780 में भारत का सबसे पहला समाचार पत्र कोलकाता में प्रकाशित किया गया था जिसका नाम था “द बंगाल गैजेट” जिसका सम्पादन जेम्स हिक्की नामक आयरिश ने किया था। यही वो समय था जब से भारत में समाचार पत्रों का पहली बार विकास हुआ था। आज भारत में कई तरह की भाषाओं में अखबार छपते और प्रकाशित किए जाते हैं।

समाचार पत्र की अहमियत (Importance Of Newspaper)

समाचार पत्र बहुत ही महत्वपूर्ण संचार माध्यम है। समाचार पत्र से लोगों के दिन की शुरुआत होती है। व्यक्ति अपनी चाय की पहली चुस्की लेते हुए हाथ में अखबार जरूर रखता है। इससे सुबह-सुबह उन्हें देश में होने वाले अहम चीजों के बारे में जानकारी मिलती है। व्यक्ति अपने दिन की शुरुआत ताजी खबरों और सूचनाओं के साथ करना बहुत ही बेहतर होता है। समाचार पत्र से व्यक्ति का ज्ञान बढ़ता है जिसकी वजह से लोग आत्मविश्वासी बनते हैं। यह लोगों के व्यक्तित्व को भी सुधारने में मदद करता है। यह हमें देश और दुनिया की ढेर सारी सूचनाओं और खबरों की जानकारी देता है। देश के नागरिक होने के नाते, लोगों अपने देश व दूसरे देशों में होने वाली सभी घटनाओं और विवादों के बारे में जानकारी होना जरूरी है। यह हमें राजनीति, खेल, क्राइम, फिल्मों आदि के बारे में बताता है। 

समाचार पत्र की भाषा (Language Of Newspaper)

आज के समय में समाचार पत्र हर भाषा में उपलब्ध होते हैं और इसे किसी भी भाषा की जानकारी रखने वाला व्यक्ति पढ़ सकता है। अब समाचार पत्र अनेक भाषाओं में उपलब्ध होते हैं जिससे पढ़ने वाला अपनी इच्छा के अनुसार अपनी पसंदीदा भाषा को चुन सकता है। अनेक भाषाओं में समाचार पत्र उपलब्ध होने की वजह से सभी जरूरी सूचना हर जगह चाहे शहर हो या गांव तक बड़ी आसानी से पहुंच जाती है।

समाचार पत्र के बारे में रोचक तथ्य (Interesting Facts about Newspaper in Hindi)

  • भारत में हर दिन लगभग 70 हजार से ज्यादा अखबार प्रकाशित होते है जो कई क्षेत्रीय भाषाओं में छपते हैं।
  • भारत में प्रकाशित होने वाला हिंदी भाषा का पहला समाचार पत्र उदंत मार्तंड था |
  • इस समय लगभग 1000 से ज्यादा दैनिक अखबार हिंदी भाषा में प्रकाशित होते हैं।
  • भारत में 50 के दशक के दौरान सिर्फ 214 दैनिक समाचार पत्र प्रकाशित होते थे |
  • भारत में हिंदी भाषा का सबसे लोकप्रिय अखबार दैनिक जागरण, स्वतंत्रता आन्दोलन के दौरान प्रकाशित हुआ था |

समाचार पत्र के इस निबंध से हमें क्या सीख मिलती है? (What Will Your Child Learn from a Newspaper Essay?)

हर इंसान की अपनी-अपनी पसंद होती है किसी को टीवी, किसी को रेडियो और किसी को अखबार के जरिए खबरें हासिल करना पसंद होता है लेकिन इनमें समाचार पत्र की अलग अहमियत होती है। ये जानकारी का सबसे पहला संसाधन था और आज भी कई लोग इसे ही पढ़ना पसंद करते हैं। इस निबंध का मुख्य उद्देश्य आपके बच्चे को ये समझना है और साथ ही ये बताना भी कि चाहे जितने भी नए माध्यम क्यों न आ जाएं लेकिन समाचार पत्र सबसे भरोसेमंद माध्यम माना जाता है। घर के बड़े-बुजुर्ग आज भी फोन और टीवी से खबरों को जानने के बजाय अखबार पढ़ना पसंद करते हैं।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs)

1. भारत में समाचार पत्र का जनक किसे कहा जाता है?

समाचार पत्र के जनक का नाम जेम्स ऑगस्टस हिक्की है। 

2. भारत में पहला अखबार कब शुरू किया गया था?

साल 1780 में जेम्स ऑगस्टस हिक्की ने पहली बार बंगाल गजट नाम का अखबार भारत में शुरू किया था।

3. भारत में कौन सा समाचार पत्र सबसे पुराने दैनिक के रूप में जाना जाता है?

भारत में साल 1822 में फरदूनजी मुर्ज़बान द्वारा शुरू किया गया ‘मुंबई समाचार’ सबसे पुराना दैनिक है। 

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समर नक़वी

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