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जल प्रदूषण पर निबंध (Essay On Water Pollution In Hindi)

दुनिया में किसी भी प्राणी को जीवित रहने के लिए कुछ मूल आवश्यकताएं होती हैं। इन आवश्यकताओं में से एक सबसे महत्वपूर्ण है जल। बिना पानी के कोई भी जीव धरती पर जीवित नहीं रह सकता है। इंसान, जानवर या फिर पेड़-पौधे सभी को पानी की जरूरत होती है। लेकिन अब इंसानों द्वारा यह जल प्रदूषित हो रहा है। कहते हैं कि धरती पर सिर्फ एक प्रतिशत पानी ही पीने लायक है। जल प्रदूषण के कारण कई सारी बीमारियां जन्म ले रही हैं। जल प्रदूषण लोगों के जीवन के लिए खतरा बनता जा रहा है। इसका सबसे ज्यादा असर पानी में रहने वाले जीवों पर पड़ रहा है। 

जल प्रदूषण पर 10 लाइन का निबंध (10 Lines On Water Pollution In Hindi)

जल प्रदूषण पर यदि कम शब्दों में निबंध लिखना है तो नीचे 10 लाइनों में ऐसा निबंध लिखने के लिए सैंपल दिया गया है। इसे 100 शब्दों के पैराग्राफ के रूप में भी लिखा जा सकता है।

  1. जल एक बेहद महत्वपूर्ण संसाधन है और हर प्राणी के लिए यह जरूरी होता है।
  2. जल में दूषित तत्वों के मिलने से जल प्रदूषित हो जाता है।
  3. नदी, तालाब, समुद्र, झील व भू-जल आदि का दूषित होना जल प्रदूषण कहलाता है।
  4. प्लास्टिक, औद्योगिक कचरा, नालों का गंदा पानी जल प्रदूषण के कारण हैं।
  5. जल प्रदूषण के कारण कई बीमारियां जैसे हैजा, पेचिश, टाइफाइड फैलती हैं।
  6. जल प्रदूषण की वजह से सबसे ज्यादा नुकसान पानी में रहने वाले जीवों को होता है।
  7. कई बार विस्फोटक सामग्री का परीक्षण भी समुद्र में किया जाता है जिससे जल प्रदूषित होता है।
  8. आज जल प्रदूषण एक वैश्विक समस्या बन चुका है।
  9. जल प्रदूषण को रोकने के लिए हमें पानी के सभी स्रोतों को साफ रखना होगा।
  10. जल सभी जीवों की पहली आवश्यकता है इसलिए हमारा कर्तव्य है कि इसे प्रदूषित होने से बचाया जाए।

जल प्रदूषण पर छोटा निबंध 200-300 शब्दों में (Short Essay on Water Pollution in Hindi in 200-300 Words)

अगर बच्चे को जल प्रदूषण पर एस्से छोटे रूप में लिखने को कहा गया है, तो आप नीचे दिए गए सैंपल का सहारा ले सकते हैं और बच्चे को सिखा सकते हैं कि हिंदी में जल प्रदूषण पैराग्राफ में कैसे लिखना है। 200-300 शब्दों का यह निबंध वाटर पॉल्यूशन पर पैराग्राफ हिंदी में या हिंदी में जल प्रदूषण एस्से, इस तरह के प्रश्न के उत्तर के रूप में लिखना चाहिए। 

दुनिया भर में दिन प्रतिदिन प्रदूषण बढ़ता जा रहा है। हमारा सबसे जरूरी संसाधन जल भी इसके चपेट में आ गया है। जल में हानिकारक पदार्थों के मिलने के कारण जल प्रदूषित हो जाता है। जल प्रदूषण आज पानी के सभी स्रोतों, नदी, तालाब, समुद्र, झील और यहां तक कि भू-जल को नुकसान पहुंचा रहा है। भूकंप, सुनामी जैसे प्राकृतिक कारणों से भी जल प्रदूषण होता है। लेकिन ये कारण इंसानों द्वारा की गई गतिविधियों की तुलना में पानी को बहुत कम नुकसान पहुंचाते हैं। हमारे कारखानों और फैक्ट्री से निकलने वाला गंदा पानी और केमिकल बहते पानी में छोड़ दिया जाता है। कई बार जानवरों के मरने पर लोग उन्हें पानी में बहा देते हैं। इसके अलावा सीवेज की उचित निकासी न होने पर मल-मूत्र भी इसमें मिलता है। इन सब कारणों से जल प्रदूषण की समस्या लगातार बढ़ रही है। हर प्राणी को जीवित रहने के लिए पानी सबसे बड़ी आवश्यकता है। पीने, नहाने, खाना बनाने, फसलों की सिंचाई, सीवेज के निपटान, बिल्डिंग के निर्माण आदि लगभग हर काम को पूरा करने के लिये स्वच्छ जल बहुत जरूरी है। प्रदूषित पानी के कारण कई देशों में खतरनाक बीमारियां जैसे कॉलरा, टाइफाइड, पेचिश और वायरल इंफेक्शन फैलते हैं। इसके अलावा समुद्र में भारी मात्रा में कच्चा पेट्रोलियम व जहाजों पर होने वाली दुर्घटनाओं के कारण हानिकारक रसायनों के रिसाव से कई समुद्री प्रजातियां विलुप्त होने के कगार पर हैं। एक रिपोर्ट के अनुसार धरती के मुकाबले जलीय जीव लगभग 5 गुना तेजी से विलुप्त हो रहे हैं।

जल प्रदूषण को बढ़ने से रोकना जरूरी है। धरती पर 70 प्रतिशत भाग पानी है लेकिन पीने के लिए सिर्फ एक प्रतिशत पानी ही मौजूद है। अगर हम उसे भी शुद्ध नहीं रख सके तो आने वाली पीढ़ी का भविष्य अंधकार में होगा। 

जल प्रदूषण पर निबंध 400-500 शब्दों में (Essay on Water Pollution in 400-500 Words)

जल प्रदूषण के निबंध को और बेहतर बनाने और बेहतरीन शब्दों का उपयोग करने के लिए नीचे दिए गए 400-600 शब्दों वाला जल प्रदूषण पर निबंध सहायता कर सकता है। जल प्रदूषण निबंध हिंदी में विस्तृत रूप में भी लिखा जाता है। जल प्रदूषण के बारे में अधिक क्रिएटिविटी और बेहतर तरीके से एक बड़ा निबंध लिखना है, तो ज्यादा शब्दों में हिंदी में जल प्रदूषण पर एस्से लिखने के लिए एक सैंपल नीचे दिया गया है। 

जल प्रदूषण क्या है? (What Is Water Pollution?)

दुनिया हर प्राणी की लगभग सभी गतिविधियां चाहे वो शारीरिक हो या प्राकृतिक पानी की मदद से पूरी होती हैं। इसके अलावा, धरती पर कितना पानी है उसके हिसाब से ही वातावरण, जलवायु और तापमान निर्भर करता है। पानी के दूषित होने की वजह से इंसानों, जानवरों और पेड़ पौधों को बहुत नुकसान पहुंच रहा है। यह प्रदूषण कारखानों से निकलने वाली गंदगी, जानवरों का मल आदि साफ पानी में मिलने की वजह से होता है। इस दूषित पानी के कारण जलीय जीवों की भी मृत्यु का खतरा बढ़ता जा रहा है। 

जल प्रदूषण के कारण (Reason For Water Pollution)

जल ही जीवन है लेकिन इसको नुकसान पहुंचाने के बहुत से कारण हैं, जो आजकल बहुत आम हो चुके हैं। चलिए जल प्रदूषण के कुछ मुख्य कारणों के बारे में जानते हैं। 

  • घरों से निकलने वाला सीवेज जल प्रदूषण का मुख्य कारण है।
  • इंडस्ट्री और फैक्ट्री से निकलने वाले हानिकारक केमिकल पानी को प्रदूषित करते हैं।
  • समुद्र और महासागर में गिरने वाले तेल से भी जल प्रदूषित होता है।
  • नदियों में कचरा फेंकने, नहाने, कपड़े धोने आदि से पानी प्रदूषित होता है।
  • कृषि कार्यों में इस्तेमाल होने वाले हानिकारक केमिकल भू-जल को दूषित करते हैं।

जल प्रदूषण के परिणाम (Consequences Of Water Pollution)

जल प्रदूषण के बेहद ही गंभीर परिणाम होते हैं। अगर जल ही दूषित हो जाएगा तो मनुष्य और जानवर अपने जीवन को कैसे आगे बढ़ाएंगे। चलिए जल प्रदूषण से होने वाले कुछ परिणामों के बारे में आपको बताते हैं। 

  • प्रतिदिन पीने के पानी की मात्रा में कमी हो रही है।
  • जलीय और समुद्री जीवों की आकस्मिक मृत्यु हो रही है।
  • लोगों को साफ-स्वच्छ पानी मिलना मुश्किल हो गया है।
  • पानी में क्लोरीन की मात्रा बढ़ती जा रही है।
  • टाइफाइड, कॉलरा जैसी गंभीर बीमारियां बढ़ती जा रही है।
  • दूषित पानी की वजह से लोगों का जीवनकाल कम होता जा रहा है।
  • इसका बुरा परिणाम छोटे बच्चों और बूढ़ों ज्यादा देखने को मिल रहा है।
  • जल प्रदूषण के कारण पेट की बीमारियां बढ़ रही है।
  • पेड़-पौधों को पानी से मिलने वाले पौष्टिक तत्व नहीं मिल रहे हैं।

जल प्रदूषण को रोकने के उपाय (Ways To Prevent Water Pollution)

दुनिया भर में सिर्फ एक प्रतिशत पानी पीने लायक बचा है। समय रहते अगर शुद्ध जल को बचाने की कोशिश नहीं की गई तो धरती पर जीवों का नामों निशान नहीं बचेगा। आइए देखते हैं कि जल प्रदूषण को रोकने के लिए कौनसे उपाय अपनाए जा सकते हैं। 

1. सरकारी उपाय

इस उपाय में हमारी सरकार को औद्योगिक और कृषि कार्यों से निकलने वाली गंदगी पर नियंत्रण रखने के लिए कानून बनाने चाहिए। इसके लिए कड़े कानून की बहुत जरूरत है। अगर इसमें जुर्माना लगा दिया जाए तो लोगों की हरकतों में थोड़ा बदलाव या परिवर्तन आ सकता है। 

2. कृषि उपाय

किसानों को जितना हो सके रासायनिक फर्टिलाइजर के जगह खाद का इस्तेमाल करने के लिए प्रेरित करना चाहिए। उर्वरकों में कई तरह के हानिकारक केमिकल मौजूद हैं जो सिंचाई के समय बह जाते हैं और ये केमिकल हमारी झीलों और नदियों में घुल जाते हैं जिसकी वजह से जल प्रदूषण उत्पन्न होता है। इसलिए किसानों को ऑर्गेनिक खादों को अपनाना चाहिए। 

3. जागरूकता

हमें ऐसी शिक्षा का बढ़ावा देना चाहिए जिससे लोग जल प्रदूषण के कारणों के बारे में जागरूक हो सकें। हमे कई तरह के विकल्प जैसे की सेमिनार, स्कूल में क्लासेज, बड़े लेवल पर सार्वजनिक प्रोग्राम करने चाहिए जिसमे जल की अहमियत और होने वाले प्रदूषण को नियंत्रण करने के बारे में बताया जाए।  

जल प्रदूषण के बारे में रोचक तथ्य (Interesting Facts About Water Pollution in Hindi)

  1. धरती पर केवल 1 प्रतिशत पानी ही पीने लायक है।
  2. कारखानों से निकलने वाले लगभग 70 प्रतिशत कचरे को पानी में फेंक दिया जाता है जिससे जल प्रदूषित होता है।
  3. घर से निकलने वाला सीवेज जल प्रदूषण का महत्वपूर्ण कारण है।
  4. भारत की गंगा नदी दुनिया की सबसे प्रदूषित नदी मानी जाती है।
  5. हर आठ सेकंड में पांच साल से कम उम्र का बच्चा प्रदूषित पानी पीने की वजह से मर रहा है।
  6. समुद्र और महासागर को कचरे और गंदगी से ज्यादा तेल प्रदूषित कर रहा है।
  7. रोजाना इस्तेमाल होने वाला ज्यादातर प्लास्टिक पानी में तैरता रहता है।

जल प्रदूषण के इस निबंध से हमें क्या सीख मिलती है? (What Will Your Child Learn from a Water Pollution Essay?)

बच्चे हमारे समाज का भविष्य हैं और उन्हें जल प्रदूषण से होनी वाली समस्या के बारे में जानकारी जरूर होनी चाहिए ताकि वे इस विषय पर हिंदी में बेहतर रूप से निबंध लिख सकें और हमारे पर्यावरण को बचाने के लिए खुद भी कदम आगे बढ़ाएं। 

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs)

यहां जल प्रदूषण से जुड़े ऐसे कई सवालों के जवाब दिए गए हैं, जो आपका बच्चा जानना चाहेगा। 

1. जल प्रदूषण का क्या संकेत है?

कभी-कभी पानी से आने वाली गंध और उसके रंग में बदलाव से यह संकेत मिलता है कि वह पानी प्रदूषित है। उसमे मौजूद सल्फर और बैक्टीरिया के कारण ऐसा होता है। 

2. जल प्रदूषण इंसानों को कैसे नुकसान पहुंचाता है?

जल प्रदूषण में कई तरह के जहरीले पदार्थ, केमिकल और व बैक्टीरिया मौजूद होते हैं जो मनुष्यों में कॉलरा, टाइफाइड, टीबी और पेट के अन्य रोगों जैसी हानिकारक बीमारियों का कारण बनते हैं। इनमें राउंडवॉर्म और टेपवर्म जैसे परजीवी भी होते हैं जो के शरीर के लिए बेहद हानिकारक होते हैं और गंभीर बीमारियों को बढ़ावा देते हैं।

यह भी पढ़ें:

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समर नक़वी

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