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पोहा बनाने के लिए चपटे किए हुए चावल का इस्तेमाल किया जाता है और यह ब्रेकफास्ट व स्नैक फूड के तौर पर पूरे भारत में बहुत मशहूर है। कच्चे चावल को कूटा जाता है और इसे ड्राई फ्लैक्स के रूप में तैयार कर लिया जाता है और जब इसमें पानी डाला जाता है तो यह फूल कर मुलायम हो जाता है। गर्भवती महिलाओं के लिए पोहा बहुत फायदेमंद है। पोहा किस प्रकार बनता है और गर्भवती महिलाओं के लिए कैसे फायदेमंद है, इसके बारे में जानने के लिए यह लेख पढ़ना जारी रखें।
पोहा चावल के चपटे दानों से बनता है। कच्चे चावल को पानी में भिगोया जाता है, भुना जाता है, इसकी भूसी (छिलके) को अलग करके इसे चपटा बनाने के लिए इस पर रोलर चलाया जाता है। इसके बाद इसे सुखाया जाता है।
पोहा कई अलग-अलग किस्मों में उपलब्ध होता है, जिनमें कुछ आपको नीचे बताए गए हैं, तो जानते हैं:
सफेद पोहा सफेद चावल से बनाया जाता है। सफेद पोहा बनाने की प्रक्रिया में सफेद चावल की कनकी या भूसी को पूरी तरह से हटा दिया जाता है। यह आसानी से पच जाता है और कार्बोहाइड्रेट का एक बेहतरीन स्रोत है।
लाल पोहा लाल चावल के दानों से बनाया जाता है और यह आयरन और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है। इसमें नट्स जैसा स्वाद होता है और सफेद पोहे की तुलना में इसे पकाने में अधिक समय लगता है।
ब्राउन पोहा ब्राउन राइस से बनता है और इसमें पोटैशियम, आयरन और डाइटरी फाइबर जैसे पोषक तत्व पाए जाते है।
क्या आप सोच रही हैं कि पोहे का सेवन करना प्रेगनेंसी के दौरान सुरक्षित है या नहीं? तो इसका जवाब है हाँ! पोहा गर्भवती महिलाओं के लिए बहुत हेल्दी और सेफ होता है। यह आसानी से पच भी जाता है, इस प्रकार यह उन महिलाओं के लिए एक बेहतरीन ऑप्शन है, जो प्रेगनेंसी के दौरान मतली और उल्टी से पीड़ित हैं।
सफेद पोहे की तुलना में ब्राउन और रेड राइस से बना पोहा ज्यादा फायदेमंद होता है, हालांकि इसे पकाने में थोड़ा ज्यादा समय लगता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि सफेद पोहे की तुलना में ब्राउन और रेड राइस में ज्यादा डाइटरी फाइबर होते हैं। इसके अलावा सफेद पोहे की तुलना में ब्राउन और रेड पोहे में आयरन और एंटीऑक्सिडेंट जैसे पोषक तत्व ज्यादा पाए जाते हैं। लाल पोहे में एंथोसायनिन भी होता है, जो एक फ्लेवोनॉयड है इसमें एसेंशियल मिनरल जैसे जिंक, आयरन और मैंगनीज होता है।
यदि आप अभी भी सोच रही हैं कि क्या आपका पोहा खाना सुरक्षित है? तो इसका जवाब हाँ है! जैसा कि आपको पहले भी बताया गया है कि गर्भवती महिलाओं के लिए पोहा बहुत फायदेमंद होता है, यहाँ आपको प्रेगनेंसी के दौरान पोहे का सेवन करने के कुछ फायदे बताए गए हैं:
पोहे में डाइटरी फाइबर बहुत ज्यादा होते हैं और लो ग्लाइसेमिक इंडेक्स होता है। यह रक्त में धीरे-धीरे ग्लूकोज रिलीज करके ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल करता है।
पोहा एक प्रोबायोटिक है। चूंकि इसे तैयार करने की प्रक्रिया के दौरान भिगोया जाता है, तो यह फर्मेंट हो जाता है और अच्छे बैक्टीरिया को बनाए रखता है जो आँतों और पाचन के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं।
पोहे में 77% कार्बोहाइड्रेट होता है। इस प्रकार, यह एक बेहतरीन ब्रेकफास्ट के रूप में जाना जाता है, क्योंकि यह कार्बोहाइड्रेट आपके शरीर को रोजाना की एक्टिविटीज करने के लिए एनर्जी देता है।
पोहा आसानी से पच जाता है, इसलिए इससे एसिडिटी नहीं होती है। यह उन महिलाओं के लिए बहुत अच्छा है जिन्हें गर्भावस्था के दौरान एसिडिटी या सीने में जलन की समस्या बहुत होती है।
पोहे में आयरन, जिंक और मैंगनीज जैसे एसेंशियल मिनरल पाए जाते हैं, जो गर्भ में पल रहे बच्चे के विकास के लिए बहुत जरूरी है।
हालांकि पोहा पोषक तत्वों से भरपूर होता है, लेकिन इसमें कैलोरी कम होती है, इसलिए ये अनावश्यक वजन बढ़ने से रोकता है।
पोहे में मौजूद आयरन गर्भवती महिलाओं में एनीमिया से बचाव करने में मदद करता है।
अगर आपको ग्लूटेन से एलर्जी है या गर्भावस्था के दौरान आप ग्लूटेन-फ्री डाइट पर हैं, तो पोहा आपके लिए एक अच्छा ऑप्शन हो सकता है, क्योंकि इसमें ग्लूटेन की मात्रा में बहुत कम होती है।
पोहे को प्रेगनेंसी के दौरान एक हेल्दी ब्रेकफास्ट और स्नैक माने जाने के पीछे कई कारण हैं जो आपको नीचे बताए गए हैं, तो आइए जानते हैं:
पोहा सभी किराने की दुकानों में आसानी से उपलब्ध होता है, इसलिए आपको इसे खरीदने के लिए ज्यादा परेशान नहीं होना पड़ेगा।
पोहा बहुत महंगा नहीं होता है, कि आपको इसे खरीदने के लिए अपने बजट को देखना पड़े, यह आसानी से ठीक-ठाक दाम में मिल जाता है।
पोहा बनाना बहुत ही आसान है और इसके लिए बहुत ज्यादा समय भी नहीं लगता है। यहाँ तक कि जिन लोगों को ठीक से खाना पकाना भी नहीं आता वो भी इसकी रेसिपी को आसानी से बना सकते हैं।
आप सब्जियों, सोया, उबले अंडे या नट्स जैसी चीजों को मिलाकर पोहे की डिश को और भी ज्यादा पौष्टिक बना सकती हैं। पोहे को अलग-अलग तरह से इस्तेमाल किए जाने की वजह से यह भारत में बहुत लोकप्रिय है।
आप कई तरह से पोहा बना सकती हैं, तो इसलिए आप कभी इसे खाकर ऊबेंगी नहीं।
जब आप गर्भवती होती हैं, तो यह बहुत जरूरी है कि आप बेस्ट क्वालिटी की चीज ही अपने लिए चुनें। इसलिए, आपको बेस्ट क्वालिटी वाले लाल या ब्राउन ऑर्गेनिक राइस से बने पोहे का ही सेवन करना चाहिए। ध्यान रहे आप जो पोहा खरीदें उसका पैकेट ट्रांसपेरेंट होना चाहिए जिससे आप पोहे की क्वालिटी चेक कर सकें। बेस्ट क्वालिटी वाले पोहे का स्वाद और सुगंध लंबे समय तक बरकरार रहती है।
यहाँ आपको पोहे की कुछ हेल्दी और पौष्टिक रेसिपीज बताई गई हैं, जिन्हें आप गर्भावस्था के दौरान आजमा सकती हैं:
इससे बनाना बहुत आसान है, अगर आपको बहुत तेज भूख लगी है और आप जल्दी बन जाने वाले स्नैक की तलाश में हैं, तो यह रेसिपी आपको जरूर ट्राई करनी चाहिए।
इंग्रेडिएंट
नमक, अदरक- कद्दूकस किया हुआ, हरी मिर्च का पेस्ट, 1 कप दही और 1 कप पोहा।
कैसे बनाएं:
पोहे को 15 मिनट के लिए भिगोकर रखें, जब तक कि यह नर्म न हो जाए। सभी चीजों को अच्छे से मिलाएं और इसे 5 मिनट के लिए छोड़ दें। इसे रूम टेम्परेचर पर परोसें।
इस टैंगी डिश को आप ब्रेकफास्ट या स्नैक के रूप में खा सकती हैं।
इंग्रेडिएंट
1 कप पोहा, 1 कप उबले हुए आलू के टुकड़े, एक चम्मच राई, उड़द की दाल, जीरा, 1 नींबू का रस, 1 कटी हुई हरी मिर्च, हल्दी 1 चम्मच, नमक स्वादानुसार, पानी, 1 बड़ा चम्मच वेजिटेबल ऑयल।
कैसे बनाएं:
पोहे को नरम होने तक 15 मिनट के लिए भिगो दें। इसे छान लें और अलग रखें। एक पैन में तेल गरम करें और उसमें राई, उड़द और जीरा डालें। इसके बाद हरी मिर्च और आलू डालें और आलू के गोल्डन ब्राउन होने तक तलें। इसमें पोहा, हल्दी और स्वादानुसार नमक मिलाएं। आंच बंद करें और नींबू का रस डालें और अच्छी तरह मिक्स करें। अब आप इसे गर्मागर्म परोसें।
यह एक स्वादिष्ट डिश है और हेल्दी डिजर्ट भी, तो आइए जानते हैं आप इस डिश को कैसे तैयार कर सकती हैं।
इंग्रेडिएंट
1 कप भिगोया हुआ पोहा। 1 मैश किया हुआ केला, भुनी हुई मूंगफली दरदरे पाउडर के रूप में, शहद, नट्स जैसे काजू, पिस्ता या बादाम।
कैसे बनाएं:
सभी इंग्रेडिएंट्स को भिगोए हुए पोहा के साथ मिलाएं और इसे 10 मिनट के लिए छोड़ दें, रूम टेम्परेचर पर परोसें।
पोहा गर्भवती महिलाओं के लिए बहुत हेल्दी माना जाता है और इसके कई पोषण लाभ भी मिलते हैं। लेकिन हर चीज की तरह पोहे का सेवन भी सीमित मात्रा में करना चहिए। आहार में कुछ भी नया शामिल करने से पहले अपने डॉक्टर की सलाह लें।
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