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स्पर्श की शक्ति शब्दों से परे है। दोस्तों या प्रियजनों को प्यार से एक बार गले लगाने से ही दिन अच्छा हो जाता है। इसलिए निस्संदेह मालिश करने से भी एक गर्भवती महिला या हाल ही में बनी माँ को सुविधाएं, आराम और मन की शांति मिलती है। हालांकि मालिश के लिए उतना ज्यादा प्रोत्साहन नहीं दिया जाता है क्योंकि इसके ऑप्शन में अक्सर महिलाएं दूसरी चीजें जैसे सप्लीमेंट्स लेती हैं या एक्सरसाइज करती हैं। गर्भावस्था के दौरान या बाद की समस्याओं को कम करने के लिए मालिश से होने वाले पॉजिटिव प्रभावों को समझना भी जरूरी है।
मालिश भी उतनी ही पुरानी तकनीक है जितना कि यह समाज। यहाँ तक कि कुछ जानवर भी ऐसी एक्टिविटी करते हैं जिन्हें देख कर लगता है कि वे भी मालिश करते हैं। यदि आपने इंटरनेट पर डॉग्स या कैट की फनी वीडियो देखी हों तो आपको यह पता ही होगा। ग्रीस, चीन, जापान, मिस्र, मेसोपोटामिया और भारत में बहुत पहले से लोग जानते हैं कि मानव शरीर के अलग-अलग भागों पर ढीले हाथ या कभी-कभी किसी अन्य चीज से दबाव डालने पर बहुत सारे फायदे मिलते हैं।
आज के समय में लगभग 20 प्रकार की मालिश के तरीके प्रसिद्ध हैं और मालिश के कई पार्लर में इनका उपयोग भी किया जाता है। मालिश करने के कुछ फायदे निम्नलिखित हैं, आइए जानें;
गर्भावस्था और बच्चे के जन्म के बाद मालिश करने के महत्व और फायदे जानने से पहले आप समझें कि इसमें किन चीजों की आवश्यकताएं होती हैं। मालिश करते समय आपको निम्नलिखित चीजों की जरूरत पड़ती है, आइए जानें;
यह समझना जरूरी है क्योंकि गलत तेल का उपयोग करने से आपको सिर्फ उल्टी जैसा ही महसूस या सिर में दर्द ही नहीं होगा बल्कि यह आपकी त्वचा को डैमेज कर सकता है या शरीर पर निशान भी पड़ सकते हैं। इसलिए ज्यादातर महिलाएं ऑर्गेनिक तेल या वेजिटेबल ऑयल का ही उपयोग करती हैं – ये तेल केमिकल फ्री होते हैं और पोषण देने, मॉइश्चराइज करने में मदद करते हैं और साथ ही इससे त्वचा मुलायम रहती है। इसमें फिगारो ऑलिव ऑयल अत्यधिक प्रभावी रूप से काम करता है और आपकी त्वचा की रंगत में भी सुधार लाता है। इसलिए आप मालिश के लिए फिगारो ऑलिव ऑयल का ही उपयोग करें।
एक गर्भवती महिला या हाल ही में बनी माँ को मालिश करना सामान्य व्यक्ति को मालिश करने से बिलकुल अलग होता है। इसके लिए सिर्फ प्रोफेशनल या स्पेशलिस्ट की मदद लेनी चाहिए जिसे इसमें अंतर मालूम हो और जो मालिश करने के सभी तरीके जानता हो, आप सिर्फ प्रोफेशनल से ही मालिश करवाएं।
गर्भावस्था के दौरान पेट बढ़ने के साथ ही आप कुछ चीजें नहीं कर पाएंगी, जैसे कमर के बल नीचे झुकना, हाथ और पैर को पूरा घुमाना इत्यादि। मालिश करने वाली को सिर्फ इतना ही पता नहीं होना चाहिए बल्कि उसे यह भी मालूम होना चाहिए कि आपको सहजता कैसे प्रदान की जाए। इसका अर्थ है कि आपकी गर्दन, पीठ और बैठने की अलग-अलग पोजिशन को सपोर्ट देने के लिए बहुत सारे तकियों का उपयोग करना जरूरी है (यदि नीचे झुकना असुविधाजनक और असंभव है तो)।
यदि आप मालिश के लिए पार्लर या स्पा में जाती हैं तो अपॉइंटमेंट लेने से पहले वहाँ का टॉयलेट व बाथरूम जरूर चेक करें। आप नहीं चाहती होंगी कि इस अपॉइंटमेंट की वजह से आपको यूरिनरी ट्रैक्ट में इन्फेक्शन या अन्य जर्म्स हो जाएं। सिर्फ आपको ही इन्फेक्शन होने का खतरा नहीं है बल्कि आपके बच्चे को भी इन्फेक्शन हो सकता है! इसलिए खयाल रखें।
कई महिलाएं, यहाँ तक कि वे भी जो मालिश करने के फायदों को मानती हैं – वे भी गर्भावस्था के दौरान मालिश करवाने से डरती हैं। उन्हें अपने शरीर में होने वाली उन सब चीजों से डर लगता है जिससे गर्भ में पल रहे बच्चे को खतरा हो और वे ऐसा समझती भी हैं। हालांकि गर्भावस्था के दौरान मालिश करवाने से महिलाओं को बहुत फायदे मिलते हैं। कुछ फायदे निम्नलिखित हैं, आइए जानें;
पोस्टपार्टम या बच्चे के जन्म के बाद या डिलीवरी के बाद मालिश करवाना गर्भावस्था के दौरान मालिश करवाने से ज्यादा आम है। हालांकि कुछ महिलाएं अपने बच्चे की इतनी चिंता करती हैं कि वे अपने बारे में बिलकुल भी नहीं सोचती हैं। डिलीवरी के बाद मालिश करवाना कोई शौक या लक्जरी नहीं है, यह एक जरूरत है। डिलीवरी के बाद मालिश करवाने के कुछ फायदे निम्नलिखित हैं, आइए जानें;
आखिर में एक बात जानिए, 20 सेकंड्स तक गले मिलने से शरीर में ऑक्सीटॉसिन रिलीज होता है जो आपके मूड को ठीक करता है, मन शांत करता है और इससे आपस में विश्वास भी बढ़ता है। यदि 20 सेकंड्स तक का शारीरिक स्पर्श यह सब कर सकता है तो आप सोच सकती हैं कि मालिश करने से आपको कितना फायदा होगा।
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