गर्भावस्था

गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल का उपयोग

हाँ, यह सच है कि गर्भावस्था में किसी भी प्रकार का आहार या स्किन केयर प्रोडक्ट उपयोग करने से पहले इसकी जांच करना बहुत जरूरी है। इस समय आपको कुछ चीजें जैसे एल्कोहल और कुछ दवाइयां बिलकुल भी नहीं लेना चाहिए। इसके अलावा अन्य चीजें, जैसे एसेंशियल ऑयल और हर्ब्स, उदाहरण के लिए लेमनग्रास का उपयोग सावधानी से और संयमित मात्रा में करना चाहिए। 

तो क्या इसमें आल्मंड ऑयल (बादाम का तेल) भी शामिल है?

क्या गर्भवती महिलाएं आल्मंड ऑयल का उपयोग कर सकती हैं?

सामान्यतौर पर मार्केट में 3 प्रकार के आल्मंड ऑयल मिलते हैं। यहाँ हम जानेंगे उनके उपयोग और सेफ्टी के बारे में जानें;

1. स्वीट आल्मंड ऑयल

पिछले कई वर्षों से गर्भवती महिलाएं खाने और त्वचा पर लगाने के लिए स्वीट आल्मंड ऑयल का उपयोग करती हैं। यह एक ‘कैरियर’ ऑयल होता है – इसका उपयोग अक्सर ज्यादा मात्रा में ही किया जाता है (एसेंशियल ऑयल के विपरीत)। सामान्यतौर पर या इस पूरे आर्टिकल में स्वीट आल्मंड ऑयल को ही आल्मंड ऑयल कहा गया है। 

2. बिटर आल्मंड ऑयल

बिटर आल्मंड का एक प्रकार का फल होता है (आल्मंड फल होते हैं नट्स नहीं!) जो स्वीट आल्मंड से अलग पेड़ पर होते हैं। बिटर आल्मंड ऑयल एक एसेंशियल ऑयल होता है और यह थोड़ा सा टॉक्सिक भी होता है। 

3. रोस्टेड आल्मंड ऑयल

रोस्टेड आल्मंड ऑयल स्वीट आल्मंड से बनाया जाता है। इसका उपयोग खाना पकाने में भी किया जाता है। तेल में आल्मंड के नटी फ्लेवर को लाने के लिए इसे रोस्ट किया जाता है। इसका फ्लेवर बहुत हल्का या न के बराबर होता है यदि तेल एक्सट्रेक्ट करने से पहले आल्मंड को रोस्ट नहीं किया गया है। 

गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल का उपयोग करने के फायदे

स्वीट आल्मंड ऑयल में मौजूद न्यूट्रिशन दिल के स्वास्थ्य, डायबिटीज को नियंत्रित करने, कोलन के स्वास्थ्य और शरीर को एंटीऑक्सीडेंट्स प्रदान के लिए फायदेमंद है। 

हालांकि, गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल को शरीर में लगाने से भी बहुत फायदे होते हैं और यह गुण इसे लोकप्रिय बनाता है। 

1. स्ट्रेच मार्क्स ठीक होते हैं

  • गर्भावस्था के दौरान शरीर बढ़ता है जिसकी वजह से त्वचा में खिंचाव होने के कारण स्ट्रेच मार्क्स होते हैं।
  • आल्मंड ऑयल त्वचा को मॉइस्चराइज करता है और साथ ही इसे फ्लेक्सिबल व मुलायम बनाता है।
  • यदि आप रोजाना अपने पेट, जांघों, ब्रेस्ट और शरीर के अन्य भागों में जहाँ पर स्ट्रेच मार्क्स हो सकते हैं वहाँ पर आल्मंड ऑयल लगाती हैं तो इससे आपके सभी स्ट्रेच मार्क्स खत्म हो जाएंगे और त्वचा मुलायम रहेगी।

2. रूखी त्वचा ठीक होती है

  • गर्भावस्था के दौरान शरीर में खून की अधिक आवश्यकता होने के कारण हाथ और पैरों में खून का बहाव कम हो जाता है जिसकी वजह से हाथ व पैर की त्वचा रूखी हो जाती है।
  • स्वीट आल्मंड ऑयल आसानी से मिल जाता है और आप मॉइस्चराइजिंग क्रीम की जगह पर इसका उपयोग कर सकती हैं। गर्भावस्था के दौरान शरीर में लगाने के लिए यह सबसे ज्यादा सुरक्षित मॉइस्चराइजिंग ऑयल है।

3. पेरिनियल क्षेत्र ठीक होता है

  • शरीर में वजायना और ऐनस (गुदा) के बीच के भाग को पेरिनियल क्षेत्र कहा जाता है। बच्चे के जन्म के दौरान पेरिनियल क्षेत्र की त्वचा फट सकती है।
  • पेरिनियल की त्वचा में आल्मंड ऑयल से 5 मिनट तक रोजाना मालिश करने से त्वचा सॉफ्ट हो जाती है जिससे बच्चे का जन्म के दौरान यह लचीला साबित होता है।

स्वीट आल्मंड ऑयल और नेचुरल आल्मंड ऑयल कैसे अलग हैं?

वैसे तो स्वीट और बिटर आल्मंड ऑयल नाम के हिसाब से बहुत कम जाना जाता है इसलिए अक्सर लोग इन दो प्रकार के बादाम में अंतर नहीं बता पाते हैं। यह दोनों प्रकार के बादाम प्राकृतिक रूप से ही होते हैं। हालांकि यह यहाँ बताया गया है कि नेचुरल आल्मंड ऑयल या बिटर आल्मंड ऑयल स्वीट आल्मंड ऑयल से कैसे अलग है, आइए जानें;

1. सोर्स

स्वीट और बिटर आल्मंड दो अलग-अलग प्रकार के बादाम होते हैं। स्वीट आल्मंड के पेड़ में सफेद रंग के फूल आते हैं और बिटर आल्मंड के पेड़ में गुलाबी रंग के फूल आते हैं। 

2. खाने के योग्यता

बिटर आल्मंड में सायनाइड और अन्य टॉक्सिक पदार्थों के ट्रेसेस होते हैं जिनकी वजह से यह बादाम खाने योग्य नहीं होता है। वहीं दूसरी तरफ स्वीट आल्मंड अपने स्वास्थ्य संबंधी फायदों के लिए प्रसिद्ध है। 

3. रूप

बिटर आल्मंड, स्वीट की तुलना में थोड़ा चौड़ा और छोटा होता है। हालांकि दोनों का निचला भाग एक जैसा होता है और इन दोनों प्रकार के बादाम में अंतर करना कठिन है। 

4. उपयोग

स्वीट आल्मंड ऑयल त्वचा को मुलायम और जीवंत बनाता है। यह ऑयल बहुत हल्का होता है और त्वचा में बहुत जल्दी एब्सॉर्ब हो जाता है जिसकी वजह से पूरी दुनिया की महिलाएं गर्भावस्था के दौरान स्ट्रेचमार्क को ठीक करने के लिए इसका उपयोग करती हैं। 

बिटर आल्मंड ऑयल एक एसेंशियल ऑयल होता है। इसकी सुगंध अच्छी होती है पर इसमें स्वास्थ्य संबंधी कोई भी लाभ नहीं होते हैं। इसे सिर्फ प्रोसेस्ड करके ही उपयोग करना चाहिए जिसमें इसके सभी हानिकारक पदार्थ नष्ट हो जाते हैं। 

गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल का उपयोग करते समय बचाव

  • यदि आपको आल्मंड ऑयल से एलर्जी है तो इसका उपयोग न करें।
  • यदि इसके उपयोग से आपको खुजली होती है तो आप इसका इस्तेमाल करना तुरंत बंद कर दें।
  • कंजंक्शन होने पर अन्य किसी दवाई या सप्लीमेंट्स के साथ आल्मंड ऑयल का उपयोग न करें। इसके रिएक्शन से शरीर में हानि हो सकती है।
  • आल्मंड ऑयल हल्का सा लैक्सेटिव का काम करता है। यदि आप गर्भावस्था के अंतिम दिनों में इसका उपयोग करती हैं तो आपकी गर्भाशय की दीवार में संकुचन हो सकता है इसलिए इसका उपयोग बिलकुल भी न करें।

क्या गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल का उपयोग करने से प्रीमैच्योर डिलीवरी हो सकती है?

स्टडीज के अनुसार महिला को कौन सा भोजन करना चाहिए और कौन सा नहीं करना चाहिए इस बारे में ज्यादा रिसर्च नहीं की गई है। इससे महिलाओं की जीवनशैली पर प्रभाव पड़ सकता है और गर्भ में पल रहे बच्चे को खतरा हो सकता है।

इटली में एक स्टडी के दौरान गर्भावस्था में हर्बल सप्लीमेंट्स का उपयोग करने के बारे में लगभग 700 मांओं का इंटरव्यू लिया गया था। जिसका यह निष्कर्ष निकाला गया कि गर्भवस्था में त्वचा पर आल्मंड ऑयल का नियमित उपयोग करने से प्रीटर्म डिलीवरी या समय से पहले जन्म की संभावनाएं बढ़ सकती हैं। 

कई प्रतिशत महिलाएं गर्भावस्था के दौरान हर्बल सप्लीमेंट्स का उपयोग करती हैं। यद्यपि पेट में आल्मंड ऑयल स्प्रेड करने और प्रीटर्म डिलीवरी की संभावनाएं एक दूसरे से संबंधित हैं पर पर्याप्त प्रमाण न होने के कारण निश्चित रूप से किसी भी निष्कर्ष में पहुँचना कठिन है। 

गर्भावस्था के दौरान अपने न्यूट्रिशन में हर्बल सप्लीमेंट्स शामिल करने से पहले हमेशा डॉक्टर से सलाह जरूर लें। आल्मंड ऑयल अन्य हर्बल सप्लीमेंट्स के साथ कैसे रिएक्ट करेगा इसमें इतनी रिसर्च नहीं हुई है इसलिए इसके उपयोग के बारे में निश्चित रूप से नहीं कहा जा सकता है। वैसे तो बहुत सारे वास्तविक प्रमाण हैं जिनसे पता चलता है कि गर्भावस्था के दौरान आल्मंड ऑयल का उपयोग करना अच्छा है। इसलिए इसके तथ्यों को प्रमाणित करने के लिए अधिक रिसर्च करने की आवश्यकता है। 

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