शिशु

अपने बेबी को कपड़े कैसे पहनाएं?

जैसे-जैसे आपका शिशु बड़ा होता है और ज्यादा एक्टिव होने लगता लगता है, उसे कपड़े पहनाना काफी चैलेंजिंग हो जाता है, लेकिन यहाँ बताई गई टिप्स के साथ आपको बच्चे को ड्रेस अप करने में परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा। बल्कि यह एक्टिविटी आप दोनों के लिए बेहद मजेदार होने वाली है, अब आप इस सोच में पड़ गई होंगी कि आखिर हम आपको ऐसा क्या बताने वाले हैं? तो फिर ये जानने के लिए लेख को पढ़ना जारी रखें!

जब आपको लगता है कि आपने अपने न्यूबॉर्न बेबी को कपड़े पहनाने में महारत हासिल कर ली है, तो आपका बच्चा आपकी इस सोच को गलत साबित कर के यू-टर्न ले लेता है, इस प्रकार बच्चे की ड्रेसिंग का काम सुनने में जितने आसान लगता है उतना असलियत में होता नहीं है। बड़े बच्चे, नवजात शिशु से पूरी तरह से अलग होते हैं और उनकी डिमांड और ट्रीटमेंट भी अलग तरह से होता है। 4 महीने में, शिशु का वजन जन्म के समय से दोगुना बढ़ जाता है, अब पहले के मुकाबले उसके हाथ काफी मजबूत होते हैं, और वह अपने करीब मौजूद चीजों को भी पकड़ लेता है। उसकी गर्दन में भी अब पहले के मुकाबले मजबूत आ जाती है, और वह किक मारना, खुद से पलट जाने जैसी एक्टिविटी करना शुरू कर देता है। जब आप अपने बच्चे को इन डेवलपमेंट माइलस्टोन को पार करते हुए देखेंगी, तो आपको यह देखकर बहुत खुशी होगी!। लेकिन ऐसे में बच्चे को ड्रेसिंग टेबल पर लिटा कर उसके कपड़े चेंज कराना कोई आसान काम नहीं है! नन्हे बच्चे जल्दी गंदे हो जाते हैं और इसलिए दिन में कई बार उनके कपड़े बदलने पड़ते हैं। आप दोनों के लिए चीजों को आसान बनाने के लिए, यहाँ बच्चे को ड्रेस अप करने के लिए कुछ टिप्स दी गई हैं।

बच्चे को कपड़े पहनाने के लिए पांच टिप्स

1. बेसिक चीजें ठीक करें

बच्चे को गोद में लेकर उसकी चीजों को ढूंढना आपका काम बढ़ा सकता है, ऐसे में बच्चे को संभालना भी होता है, जो लिए मुश्किल पैदा करता है। इसलिए आप उसे कपड़े पहनाने के लिए एक जगह सेट कर लें जहाँ उसके कपड़े और बाकी का जरूरी सामान मौजूद हो ताकि आपको कुछ लेने के लिए इधर-उधर न जाना पड़े। 4-6 महीने के बच्चों को आमतौर पर लिटा कर ही उनके कपड़े चेंज किए जाते हैं जबकि बड़े बच्चों को बैठा कर या खड़ा कर के भी आप उनके कपड़े चेंज कर सकती हैं। ज्यादातर बच्चे को पॉटी के बाद या उसे नहलाने के बाद कपड़े बदलने चाहिए, तो आप ड्रेसिंग की शुरुआत एक साफ डायपर से करें। ठंड के मौसम में बच्चे को कपड़े पहनाते समय कंबल से ढक कर रखें।

2. सही कपड़े पहनाएं

बच्चे मोटे और इर्रिटेट करने वाले कपड़ों को पहनने से परेशान होते हैं, इसलिए उसे ऐसे कपड़े पहनाएं जो सॉफ्ट और उसकी सेंसिटिव स्किन के अनुसार हो। जिपर वाले कपड़ों से बचने की कोशिश करें, क्योंकि इससे बच्चे की त्वचा दब सकती है, इसलिए हो सके तो बटन वाले कपड़े बच्चे को पहनाएं जो आसानी से लग जाते हों। स्नैप और टाई-अप वाले कपड़े सबसे अच्छा ऑप्शन होते हैं, लेकिन शिशु की उम्र के ध्यान में रखते हुए कपड़े खरीदें। बच्चे को कपड़े चेंज करते समय, टी-शर्ट या सामने खुलने वाली टी-शर्ट पहनाना ज्यादा सही रहता है। जो बच्चे बैठने लगते हैं आप ऐसे कपड़े उनके लिए आजमा सकते हैं, कोशिश करें कि बिना टैग वाले कपड़े पहनाएं, अन्यथा इससे उसकी नाजुक त्वचा को परेशानी हो सकती है।

3. इसे मजेदार बनाएं

यदि आप अपने बच्चे को नहलाने के बाद कपड़े पहना रही हैं, तो पहले उसकी त्वचा पर लोशन लगाएं, उसके हाथ और पैरों पर हल्के हाथों से मसाज करें। बच्चे का मनोरंजन करने के लिए गाने गाएं या उसका ध्यान भटकाने के लिए झुनझुने का प्रयोग करें। कई माएं मोबाइल को चेंजिंग टेबल के ऊपर रख देती हैं, ताकि ड्रेसिंग के दौरान बच्चा लेट कर कुछ न कुछ देखता रहे और आप आसानी से उसके कपड़े बदल सकें।

4. इसे आसान बनाएं

ज्यादातर बच्चों को उनका सिर पकड़े जाने से चिढ़ होती है, इसलिए उन्हें टी-शर्ट पहनाना मुश्किल हो सकता है। इसे आसान बनाने के लिए, आप शर्ट की ओपनिंग को फैला कर बच्चे के सिर से नीचे करें। ऐसी ही दिक्कत आती है जब उनके हाथों को स्लीव्स में डालना होता है, ऐसे में आस्तीन को ऊपर की और समेट लें और बच्चे के हाथ इसमें डालें और स्लीव्स को नीचे की ओर खीचें, इस तरह से आप बिना परेशानी के उनके हाथों में स्लीव्स पहना पाएंगी। पैंट पहनाना स्लीव्स के मुकाबले थोड़ा आसान होता है, लेकिन मोजे थोड़े ट्रिकी हो सकते हैं। बच्चे को मोजे पहनाने के लिए स्लीव्स वाला ही पैटर्न अपनाएं और फिर मोजे को ऊपर की ओर खीच लें और अच्छी तरह से एडजस्ट कर दें।

5. कपड़े आखिर में पहनाएं

आपने बेबी को पूरी तरह से ड्रेसअप करने में काफी परेशानी होती है, इसलिए कपड़े सबसे बाद में पहनाएं! बच्चे को हमेशा बिब पहनाएं, ताकि लार और थूक से उसकी कमीज पर दाग न लगे। सुनिश्चित करें कि बच्चे के नीचे का कपड़ा आसानी से उतारा जा सके, ताकि आपको सिर्फ डायपर बदलने के लिए उसके सारे कपड़े न उतारने पड़े।

जब आप बच्चे के कपड़ों की खरीदारी करें, तो उस समय, ऐसे कपड़े खरीदें, जो थोड़े बड़े हों, क्योंकि बच्चे बहुत तेजी से बढ़ते हैं। ठीक इसी तरह बहुत ज्यादा महंगे कपड़े खरीदने से भी बचें, क्योंकि वे जल्दी से बड़े हो जाएंगे। इस प्रक्रिया में आप उनके बड़े भाई-बहन या दादा-दादी की हेल्प ले सकती हैं और फिर जल्दी ही अपने बच्चे को ड्रेस अप करना आप दोनों के लिए दिन का सबसे मजेदार काम होगा!

यह भी पढ़ें:

गर्मियों में छोटे बच्चों को कपड़े पहनाने के टिप्स
सर्दियों में बच्चों को स्मार्टली तैयार करना – टॉप 8 टिप्स
पेरेंट्स के लिए शिशुओं के कपड़े धोने से जुड़े 10 बेहतरीन टिप्स

समर नक़वी

Recent Posts

प्रिय शिक्षक पर निबंध (Essay On Favourite Teacher In Hindi)

शिक्षक हमारे जीवन में अत्यधिक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। वह केवल किताबों से ज्ञान नहीं…

2 weeks ago

मेरा देश पर निबंध (Essay On My Country For Classes 1, 2 And 3 In Hindi)

मेरा देश भारत बहुत सुंदर और प्यारा है। मेरे देश का इतिहास बहुत पुराना है…

2 weeks ago

शिक्षा का महत्व पर निबंध (Essay On The Importance Of Education In Hindi)

शिक्षा यानी ज्ञान अर्जित करने और दिमाग को सोचने व तर्क लगाकर समस्याओं को हल…

2 weeks ago

अच्छी आदतों पर निबंध (Essay On Good Habits in Hindi)

छोटे बच्चों के लिए निबंध लिखना एक बहुत उपयोगी काम है। इससे बच्चों में सोचने…

3 weeks ago

कक्षा 1 के बच्चों के लिए मेरा प्रिय मित्र पर निबंध (My Best Friend Essay For Class 1 in Hindi)

बच्चों के लिए निबंध लिखना बहुत उपयोगी होता है क्योंकि इससे वे अपने विचारों को…

3 weeks ago

मेरा प्रिय खेल पर निबंध (Essay On My Favourite Game In Hindi)

खेल हमारे जीवन में बहुत अहम भूमिका निभाते हैं। ये न सिर्फ मनोरंजन का साधन…

3 weeks ago