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कब्ज अक्सर बच्चों व बड़ों, दोनों को होती है। ज्यादातर फाइबर-युक्त सही डायट लेने से पाचन ठीक होने में मदद मिलती है। कुछ मामलों में डॉक्टर इस फंक्शन के लिए लैक्सेटिव प्रिस्क्राइब करते हैं। पर यदि पॉटी पूरी तरह से टाइट है तो इसे निकालना बहुत कठिन होता है। ऐसी समस्या होने पर बच्चे को एनिमा देना जरूरी होता है।
एनिमा बाहर से एक इनवेसिव प्रोसेस लगता है। बच्चे के कोलन में उल्टी दिशा में फ्लूइड जाने देना भी नॉन-बायोलॉजिकल है पर बच्चों के लिए एनिमा पूरी तरह से सेफ है। एनिमा का उपयोग तब किया जाता है जब बॉवल की समस्या को ठीक करने के सभी उपचार अपनाने से कोई भी फायदा नहीं होता है। हालांकि बच्चे के लिए इसका उपयोग करने से पहले आप एक बार डॉक्टर से बात जरूर कर लें। यदि बच्चे को गंभीर रूप से कब्ज हुआ है तो डॉक्टर आपको एनिमा लगाने का सही तरीका बता सकते हैं। डॉक्टर आपको यह भी बताएंगे कि बच्चे को कब और किस स्थिति में एनिमा दें।
एनिमा एक प्रोसेस है जो पेट को खुद से साफ होने में मदद करता है। यह रेक्टम से फ्लूइड को अंदर डालकर पॉटी को सॉफ्ट करने में मदद करता है। अक्सर इस प्रोसेस में ट्यूब का उपयोग किया जाता है। जब फ्लूइड बॉवल में आ जाता है तो इसमें मौजूद हार्ड पॉटी प्रभावी रूप से सॉफ्ट हो जाती है। इससे बॉवल से पॉटी निकलने में बहुत आसानी होती है व बच्चे को दर्द या तकलीफ भी नहीं होती है।
आमतौर पर विशेष फ्लूइड का उपयोग करके बच्चों को तीन प्रकार के एनिमा दिए जाते हैं। यह मिनरल ऑयल, सेलाइन सॉल्यूशन और फॉस्फेट सॉल्यूशन हैं। फॉस्फेस्ट सॉल्यूशन देते समय आपको ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है क्योंकि इसे बिलकुल सही मात्रा में देने की सलाह दी जाती है। यदि इसका डोज उतना नहीं है जितना होना चाहिए तो इससे बच्चे को परेशानी हो सकती है।
एनिमा का मिनरल ऑयल विशेष डोज के साथ आता है जो बच्चे की आयु के अनुसार ही होना चाहिए। सेलाइन सॉल्यूशन मेडिकल स्टोर से भी खरीदा जा सकता है या यह घर में भी बनाया जा सकता है। इसे ठीक से बनाने के लिए आपको सही मात्रा में गुनगुने पानी व नमक की जरूरत होगी। फॉस्फेट सॉल्यूशन बेस्ड एनिमा मेडिकल स्टोर में भी उपलब्ध हैं और यह इससे संबंधित सभी चीजों के साथ मिलता है।
बच्चों के लिए एनिमा का उपयोग पहले सिर्फ डॉक्टर ही करते हैं ताकि इसे बेस्ट तरीके से लगाने का एक आइडिया मिल सके। इसके बाद एनिमा देना पहले जितना कठिन नहीं लगता है।
छोटे बच्चों के लिए बॉवल में लिक्विड होल्ड कर पाना कठिन होता है। बच्चा अपेक्षित समय पूरा होने से पहले ही टॉयलेट जा सकता है। यदि ऐसा हो तो आप उसे लगातार गहरी सांस लेने व छोड़ने के लिए कहें। इससे पॉटी के दौरान स्ट्रेस कम होगा और यह थोड़ी देरी से होगी।
बच्चे को एनिमा देने से पहले निम्नलिखित कुछ बातों पर ध्यान दें, जैसे;
बच्चों के लिए एनिमा वह अंतिम कोर्स है जिसका उपयोग तब किया जाता है जब किसी भी तरह से बच्चे की पॉटी ठीक न हो रही हो। इसे देते समय बिलकुल भी न घबराएं विशेषकर तब, जब डॉक्टर ने इसकी सलाह दी हो। कुछ एनिमा बॉवल फंक्शन को ठीक करने में मदद करते हैं और आपका बच्चा पहले जैसे ही पूरी तरह ठीक हो जाता है।
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