शिशु

छोटे बच्चों में होने वाले मोशन सिकनेस से कैसे डील करें

अपने बच्चों को परेशानी और दर्द में देखना माता-पिता के लिए सबसे ज्यादा दिल दुखने वाला समय होता है। बच्चे को तकलीफ में देखना लेकिन उस समय कुछ कर न पाना माता-पिता को कितने ज्यादा असहाय बना देता है, ये बात उनसे बेहतर और कौन जान सकता है। ऊपर से अगर किसी समस्या का सामना आपको यात्रा के दौरान करना पड़ जाए ये और भी परेशानी का कारण बन जाता है, पैरेंट होने के नाते आपको नहीं समझ आता कि ऐसी कंडीशन में क्या करें। इन्ही समस्याओं में से एक है मोशन सिकनेस, जी हाँ यह बच्चों में बहुत कॉमन प्रॉब्लम होती जिसे डील करना आपके लिए थोड़ा मुश्किल हो सकता है। इस लेख में, आपको बताया गया है कि मोशन सिकनेस क्या है, इसके संकेत क्या हैं और इसे प्रभावी ढंग से कैसे डील किया जा सकता है।

मोशन सिकनेस क्या है?

मोशन सिकनेस से पेट में असहज सा महसूस होने लगता है, ऐसे बस या कार से यात्रा करने के दौरान होता है, खासतौर पर बच्चों को। यात्रा के दौरान उन्हें अजीब सा महसूस होने लगता है, जिससे मतली, चक्कर आना और बहुत डिस्कम्फर्ट सा प्रतीत होना। ज्यादातर मामलों में, मोशन सिकनेस की समस्या को कंट्रोल कर पाना बहुत मुश्किल हो जाता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि दिमाग तक अलग-अलग संकेत पहुँचते हैं जिससे दिमाग कंफ्यूज हो जाता है और संकेतों को सुलझाने में असमर्थ होता है। इससे शरीर असहज हो जाता है, और मतली व चक्कर आने जैसे फीलिंग आने लगती है।

छोटे बच्चों में मोशन सिकनेस के लक्षण क्या हैं?

बेबीज में होने वाले मोशन सिकनेस के केस में, लक्षणों को आसानी समझा जा सकता है। इन लक्षणों में से कुछ इस प्रकार शामिल हैं:

  • सिर चकराना
  • जी मिचलाना
  • सिरदर्द
  • उल्टी
  • जम्हाई लेना या नींद जैसा लगना
  • बेचैनी
  • लार चूना

छोटे बच्चों में ट्रैवल सिकनेस का उपचार कैसे किया जा सकता है?

बच्चों में कार सिकनेस बहुत ज्यादा देखने को मिलती है, जो काफी कॉमन प्रॉब्लम है, और ऐसे कई तरीके हैं जिनसे आप अपने बच्चे के साथ यात्रा करते समय इसे कंट्रोल में रखने की कोशिश कर सकती हैं।बच्चों के लिए मोशन सिकनेस की मेडिसिन भी उपलब्ध है, और ये मेडिसिन आपके बच्चे को यात्रा के दौरान उल्टी को रोकने में मदद करेंगी। दवा के अलावा, कुछ अन्य तरीके हैं जिनके द्वारा आप अपने बच्चे को कार में होने वाले मोशन सिकनेस से बचा सकती हैं। 

1. स्नैक्स खाना

कई मामलों में, बच्चे में मोशन स्किनेस होने की संभावना इसलिए भी बहुत बढ़ सकती है क्योंकि उसका पेट या तो बहुत भरा हुआ होता है या एकदम खाली होता है। ऐसे बेहतर ये होगा कि आप अपने बच्चे को कुछ खाने के लिए दें। लेकिन ध्यान रहे कि ये यात्रा के दौरान यह आसानी से पचने योग्य  होना चाहिए। यात्रा करने से पहले अपने बच्चे को कुछ स्नैक्स दें, ताकि रास्ते में उसका पेट कम्फर्टेबल महसूस करे।

2. सोना

यदि आपका बच्चा यात्रा के दौरान सो रहा है, तो उसे मोशन सिकनेस होने की संभावना कम है। इसलिए, आप अपनी ट्रिप इस प्रकार प्लान करें कि आपका बच्चा कार ज्यादा से ज्यादा समय तक सोता रहे और इस तरह जब वह अपनी डेस्टिनेशन पहुँचेगा तो फ्रेश और एनर्जेटिक महसूस करेगा।

3. हाइड्रेशन

यदि आपका बच्चा रास्ते में उल्टी करता है, तो दोबारा हाइड्रेट करना जरूरी है, ताकि जल्द ही उसकी उल्टी रूक जाए। जब वह उल्टी करता है, तो शरीर उसके शरीर से तरल पदार्थ और पानी भी बाहर निकल जाता है जिससे उसके शरीर में पानी निकल जाता है और वह फिर से प्यासा रह जाता है। आप यात्रा के दौरान उल्टी होने पर उसे थोड़ा पानी या थोड़ा सा ब्रेस्ट मिल्क दें। और बहुत ज्यादा उल्टी के केस में, ओरल रिहाइड्रेशन सोल्युशन देना जरूरी है।

4. ताजी हवा

कई मामलों में, बच्चे यात्रा के दौरान मतली महसूस करते हैं क्योंकि उन्हें घुटन महसूस हो रही होती है। अपने बच्चे में गसिकनेस को रोकने के लिए, आपको यह सुनिश्चित करना होगा कि जिस वाहन में आप हो उसमें अधिक हवा का संचार हो ताकि वह फ्रेश महसूस करे और ठीक से सांस ले सके।

5. तेज खुशबू से बचें

आपके आस-पास की गंध यह निर्धारित करने में बहुत बड़ी भूमिका निभाती है कि आपके बच्चे को कार मोशन सिकनेस होगा या नहीं, इसलिए ऐसी हर चीज हटा दें जिसकी स्मेल स्ट्रांग हो। इसमें परफ्यूम, स्ट्रांग स्मेल वाले खाद्य पदार्थ और कुछ प्रकार के कार फ्रेशनर भी शामिल हैं। कुछ मामलों में, कार की सीटों से आने वाली चमड़े की गंध से भी बच्चे को मोशन सिकनेस हो सकती है।

6. फोकस चेंज करें

मोशन सिकनेस का एक कारण ये भी है कि दिमाग मूवमेंट को समझने में असमर्थ होता है। इसका मतलब है कि आपको अपने बच्चे को आगे बढ़ने वाले किसी  भी चीज पर फोकस करने के बजाय जितना संभव हो सके हॉरिजोंटल साइड की ओर देखने के लिए कहें। इसलिए आपको यात्रा के दौरान किसी भी गेम, खिलौने, किताबें या फिल्म देखने से मना किया जाता है।  

7. ब्रेक

ट्रेवल के दौरान बीच में ब्रेक केवल एक ड्राइवर के लिए ही नहीं, बल्कि कार में बैठे सभी लोगों के लिए भी बेहतरीन काम करता है। कई ब्रेक लें ताकि बच्चे को यात्रा के दौरान घुटन महसूस न हो, और उसे अपने पैरों और हाथों को फैलाने का मौका दें। यह उसे फ्रेश रखने में एक लंबा रास्ता आसानी से तय करने में मदद करेगा और इस मोशन सिकनेस को भी रोका जा सकता है। 

हालांकि मोशन सिकनेस एक ऐसी चीज है जो बच्चों में बहुत ज्यादा देखी जाती है, आप यात्रा के दौरान इससे बचने के लिए लेख मैम बताई गई टिप्स का पालन करें। अगर इसके बावजूद भी बच्चे को मोशम सिकनेस की समस्या होती है तो उसे तुरंत लिटा दें, ताकि उसके आसपास के मूवमेंट को वो फील न कर सके और रिलैक्स करे।

यह भी पढ़ें:

शिशु के साथ फ्लाइट में सफर करने के 10 टिप्स
सफर के दौरान शिशुओं और बच्चों के लिए 12 बेस्ट फूड आइडियाज
बेबी ट्रैवल चेकलिस्ट – सफर के दौरान बच्चे के लिए जरूरी सामान

समर नक़वी

Recent Posts

भूकंप पर निबंध (Essay On Earthquake In Hindi)

भूकंप एक प्राकृतिक आपदा है, जिसमें धरती अचानक से हिलने लगती है। यह तब होता…

1 week ago

Raising Left-Handed Child in Right-Handed World – दाएं हाथ वाली दुनिया में बाएं हाथ वाला बच्चा बड़ा करना

जैसे-जैसे बच्चा बड़ा होने लगता है, उसके व्यक्तित्व के विभिन्न पहलू उभरने लगते हैं। या…

1 week ago

माता पिता पर कविता l Poems For Parents In Hindi

भगवान के अलावा हमारे जीवन में किसी दूसरे वयक्ति को अगर सबसे ऊंचा दर्जा मिला…

1 week ago

पत्नी के लिए प्यार से बुलाने वाले नाम l Nicknames For Wife In Hindi

शादी के बाद प्यार बनाए रखना किसी भी रिश्ते की सबसे खूबसूरत बात होती है।…

1 week ago

पति के लिए प्यार से बुलाने वाले नाम l Nicknames For Husband In Hindi

शादी के बाद रिश्तों में प्यार और अपनापन बनाए रखना बहुत जरूरी होता है। पति-पत्नी…

1 week ago

करण नाम का अर्थ, मतलब और राशिफल l Karan Name Meaning In Hindi

ऐसे कई माता-पिता होते हैं जो अपने बच्चे का नाम इतिहास के वीर महापुरुषों के…

2 weeks ago