यदि आपके पास आपके लिए कुछ क्षण हैं तो याद करें आखिरी बार आपने कब रंग उठाकर, कला की किताब में किसी मछली, किसी घर या किसी नारियल के पेड़ को रंगा था? ऐसा लगता है बहुत साल हो गए, हैं न? एक जिम्मेदारी माता-पिता या घर के बड़े होने के नाते आप अपने हाथों में रंग तो उठाते है पर कला-कृति करने के लिए नहीं बल्कि तब जब आपके बच्चे ने पेंटिंग का अपना आज का कोटा पूरा कर लिया हो और आपको जल्दी होती है घर को साफ करने की।
बच्चे तब बहुत खुश रहते हैं जब वे रंगों के साथ खेलते हैं, कुछ नया बनाते हैं, उसमें रंग भरते हैं। कलात्मक क्रियाएँ बच्चों को उनके जीवन में रचनात्मकता और कल्पनाओं की एक नई दुनिया में शामिल करती है लेकिन यह कार्य अगर घर के बड़े करेंगे तो और भी ज्यादा लाभ होगा। कला व रंगों की क्रिया, बड़ी उम्र के लोगों में एक चिकित्सीय प्रभाव डालती है और आज ज्यादा से ज्यादा लोग अपने जीवन से तनाव को खत्म करने के लिए कला को शौकिया रूप में अपना रहे हैं।
बड़ों के लिए क्रिएटिव कार्य करने के 7 फायदे
खुद को कलात्मक क्रियाओं में व्यस्त रखकर आप अपनी बेहद मदद कर सकते हैं। यहाँ हम आपको बताएंगे कि कैसे कलात्मक क्रियाएं बड़ों को लाभ पहुँचाती है।
यहाँ हम आपको बताएंगे कि इन क्रियाओं से बड़ों को भी कैसे मदद मिलती है;
1. यह चिंता-मुक्त व तनाव-मुक्त रखती है
कलात्मक क्रिया मस्तिष्क को शांत करती है और दिमागी ऊर्जा को रचनात्मक बनाने व सही सोचने में मदद करती है, यह भी ध्यान का ही एक रूप है। 2005 के एक शोध के अनुसार, ज्यामितीय पैटर्न में रंग भरना व मंडल आकार के सिमिट्रिकल रूप में मेडिटेशन जैसे लाभ होते हैं और यह मस्तिष्क में चल रही चिंताओं को कम कर देता है। तो अगली बार अपनी कलाकारी में रंगों का प्रयोग गर्व से करें – यह आप अपने खुद के मानसिक स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए कर रही हैं।
2. इससे दिमागी कसरत होती है
जैसा की पहले भी कहा गया है, रंगों का उपयोग मस्तिष्क के भागों में रचनात्मकता व सही सोच भरता है और इस क्रिया को हमारे दिमाग का एक अच्छा व्यायाम माना जाता है। रंग भरते समय आप अपने मस्तिष्क के दोनों भागों का इस्तेमाल करती हैं, यह आपकी मोटर स्किल्स में सुधार लाती है। हमारे मस्तिष्क का तार्कित हिस्सा रंग चुनने व पैटर्न चुनने में मदद करता है तथा दिमाग का रचनात्मक भाग रंगों को भरने व मिलाने में मदद करता है। इसलिए सेरिब्रल कोर्टेक्स के दोनों भाग मोटर योग्यता को नियंत्रित व सोच की क्षमता को बढ़ाते हैं साथ ही साथ मस्तिष्क की मोटर योग्यता, दृष्टि और समन्वय को बेहतर बनाता है।
3. यह ध्यान को केंद्रित करने में मदद मिलती है
आप चाहे किसी भी चित्र को रंग रहे हो, आपका मस्तिष्क जानता है कि उसे चित्र की रेखाओं के भीतर ही रंगना है, उसे रेखा से बाहर नहीं जाना है – इस काम के लिए केंद्रित होने की जरूरत है। जब आप रेखाओं के मध्य ही रंगों को भरते हैं, उस समय आपका दिमाग खुद से ही केंद्रित होना सीखता है। लेस्ली मार्शल के अनुसार रंग भरने की प्रक्रिया हमारे मस्तिष्क को खोलता है और दिमाग को शांत व केंद्रित करने में मदद करता है। तो, जिंदगी में केंद्रित रहने के लिए रंग भरे और व्यस्त रहें।
4. सामाजिक बनने में मदद मिलती है
आज के समय में एक ही जगह पर अक्सर लोग समाजिक हैं, वह है सोशल मीडिया। फेसबुक पर आपके अनेक दोस्त होंगे या फिर इंस्टाग्राम पर अनेक फॉलोवर होंगे पर अगर आप किसी से भी अपने पड़ोसी का नाम पूछ लें तो शायद ही किसी को पता होगा। आज के समय में पड़ोसियों से चाय-चीनी मांगने का जमाना नहीं रहा पर अगर आप अपने पड़ोसी से दोस्ती करना चाहती हैं तो साथ बैठकर कलाकृति करें, यह क्रिया आपकी जटिल से जटिल समस्याओं का समाधान है। आज के समय में अक्सर लोग (सिर्फ कलाकार ही नहीं) इस क्रिया को अपने नए शौक के रूप में अपना रहे हैं, यह आज-कल बहुत ट्रेंडिंग साबित हुई है। आप ऐसी ही रचनात्मक क्रियाओं का आयोजन कर सकती हैं और खुद के भीतर से सामाजिक होने के डर को सरलता से खत्म कर सकती हैं। अगर आप इस कार्य में उत्तम नहीं भी हैं तब भी आप लोगों से बात व दोस्ती कर सकती हैं।
5. यह आपको अच्छी नींद लेने में मदद करती है
चित्रों में रंग भरना या कोई कलात्मक क्रिया का – बेहतर नींद से सीधी तरह कोई संबंध नहीं है लेकिन फिर भी यह मदद करती है। अगर आप अपनी कला-कृति में व्यस्त रहेंगी तो मोबाइल का इस्तेमाल भी आपको रातभर जगा नहीं सकता।
अगर रात की बात करें तो अक्सर आपके मोबाइल में आया हुआ मैसेज आपकी नींद उड़ा देता है। उससे निकलती नीली रौशनी आपके मेलाटोनिन की उत्पत्ति पर प्रभाव डालती है और इस वजह से आपकी नींद खराब होती है। पर अगर आप चित्रों को रंगते समय अपने मोबाइल को देखती हैं तो आपकी आँखों पर नीली रोशनी का प्रभाव कम पड़ता है और धीरे-धीरे आपके सोने का समय और बेहतर होता जाएगा, इसके साथ-साथ आपकी आँखों के नीचे हो रहे काले धब्बे भी कम हो जाएंगे।
6. यह आपके अंदर के कलाकार को जागृत करता है
क्या आपको याद है वो पुराना समय जब आप अपने शौक पूरे करने पर व्यस्त रहा करती थी और कोई आपको रोकने वाला नहीं था? इस बढ़ती जिंदगी में आपके शौक बहुत पीछे रह गए और आप भूल गई कि आपके जीवन में कुछ चीजें ऐसी भी थी जिनके लिए आप उत्साहित हुआ करती थी। कैसा रहे अगर आपके उस जज्बे को फिर से जगाया जाए? अगर चित्रों में रंग भरना व पेंटिंग करना कभी आपका शौक रहा है, तो एक बार फिर करें। चित्रों की किताबें लाएं और डिजाइन को ऐसे रंगे जैसे आप बचपन में किया करती थीं। रोजाना एक रचनात्मक क्रिया करने से आपकी रचनात्मकता को बढ़ावा मिलेगा। तो फिर देर किस बात की आप आर्ट के साथ-साथ अपने जीवन में भी रंग भरना शुरू करें।
7. अपनी एक अलग दुनिया बनाने में मदद मिलती है
जब आप चित्रों में रंगों का इस्तेमाल शुरू करती हैं तो आप उसे अपने एक शौक की तरह करना पसंद करती हैं। इस कला से आप किसी को यह साबित करने की जरूरत नहीं है कि आप इसमें कितनी माहिर हैं, यह क्रिया सिर्फ आपके तनाव को कम करती है। यह सिर्फ आपके लिए है और इस पर टिप्पणी करने का अधिकार किसी को भी नहीं है – यह सबसे अच्छी बात है। आप इसे किस प्रकार करती हैं इसका निर्णय सिर्फ आपको ही लेना है। आर्ट की किताब में जो दुनिया आपने बनाई है वो सिर्फ आपकी है और इसमें बनने-वाली हर एक चीज इस रंग-बिरंगी दुनिया के निवासी हैं। आर्ट में रंग भरते समय, आप वैसा ही रंग भरें जैसा आपको पसंद है। आपके पास आजादी है वो बनने की जो आप हैं और जो आप करना पसंद करती हैं।
आपको कलरिंग क्यों करनी चाहिए?
हमारा यह कहना नहीं है कि आप अपने बच्चों की किताबों या पेंटिंग में रंग भरने लगें। इस आर्ट का पूरा लाभ उठाने के लिए आप खुद की एक एडल्ट आर्ट बुक खरीदें। एडल्ट कला-पुस्तकें अलग-अलग डिजाइन व पैटर्न में आती हैं, उसमें अनेक प्रकार के विषय होते हैं और उसका कागज उत्तम प्रकार का होता है। जब आप इन डिजाइन को रंगने में व्यस्त हो जाती हैं तब रोज के तनाव और चिंताओं से आपका दिमाग मुक्त हो जाता है और यह आपके मस्तिष्क का एक व्यायाम है। यह क्रिया नकारात्मक सोच को सकारात्मकता में बदल देती है – आज के समय में सोशल मीडिया और समाचार रोजाना जिंदगी में नकारात्मकता का सबसे बड़ा स्रोत है। इसको खत्म करने के लिए आप आर्ट में रंग भरने की क्रिया को अपना सकती हैं, बस आप पैटर्न के आकार व किनारों को देखें और रंग चुनें और बस करना शुरू करें।
जब आप इस क्रिया को करना शुरू करेंगी, आपकी नकारात्मक बातें, नकारात्मक सोच, तनाव व खुद पर अविश्वास खत्म हो जाएगा और आप बहुत खुश महसूस करेंगी। आर्ट करने से आपका तनाव कम होता है और मानसिक स्वास्थ्य पर सुधार आता है, इस से आपके काम करने की तीव्रता पर भी एक अच्छा असर पड़ता है। तो जल्दी से एक आर्ट किताब लाएं और जीवन के उन पलो को रंगे जो आप बहुत पीछे छोड़ आई हैं।
बड़ों के लिए रंग भरना या आर्ट एक शौक नहीं है; यह एक रास्ता है आपके जीवन से तनाव को मिटाने का। हालांकि, यह तनाव से मुक्त रहने का पूर्ण उपाय नहीं है पर फिर भी यह अद्भुत है। माता-पिता होने के नाते आपको अपने बच्चों को भी कलात्मक शिक्षा देनी चाहिए पर इसके साथ-साथ आपको भी यह शौक अपनाने की जरूरत है। अगर आप यह क्रिया अपने बच्चों के साथ करती हैं तो यह और भी मजेदार रहेगा। कुछ ऐसी ही कलाकृतियों को करें और खुद को खुशियों के हर रंग में रंग दें।